रेल यात्रा को बनाया मजाक, यात्रियों को उठाना पड़ रही परेशानी, अब टिकट कैंसल करने पर नहीं दे रहे पूरा पैसा
उज्जैन - आमतौर पर एक सुखद यात्रा के लिए किसी भी व्यक्ति की पहली पंसद रेल गाड़ी होती है। जिसके लिए वह सभी तरह की प्लानिंग करने के बाद महीनों पहले अपनी टिकट बुक करवाता है, ताकि वह अपनी यात्रा आराम से कर सके। लेकिन कई बार रेल विभाग द्वारा न सिर्फ यात्रा का मजा किरकिरा कर दिया जाता है बल्कि व्यक्ति को तमाम तरह की परेशानियों का भी सामना करना पड़ता है। ऐसा ही एक मामला दस्तक न्यूज डॉट काम के समक्ष आया। जिसमें रेलवे ने बुजुर्ग यात्री के साथ ऐसा कारनामा किया कि उसे हजारों रूपए का नुकसान उठाना पड़ रहा है। दरअसल श्री अनिल गोडबोले ने 30 मई 2024 को गाड़ी संख्या 19919 इंदौर से वैष्णोदेवी कटरा मालवा एक्सप्रेस में दो टिकट बुक की। ये दोनों टिकट उज्जैन से वैष्णोदेवी कटरा तक एसी कोच की थी, जिसके लिए उन्होंने 4980 रूप्ए खर्च किए। इसी बीच रेल विभाग द्वारा 22 अगस्त को उन्हें मैसेज करके जानकारी दी गई कि उनका टिकट कैंसल कर दिया गया है। यानी जिस तिथि (15 सितंबर 2024) में वे यात्रा करना चाहते थे, उस तिथि में मालवा एक्सप्रेस निरस्त की जाती है। उन्होंने इस बात की जानकारी जुटाई और जाना कि यात्रा मार्ग में यार्ड की कनेक्टिविटी के लिए ब्लॉक लिया जा रहा है, जिसके चलते कुछ दिनों के लिए न सिर्फ मालवा एक्सप्रेस, बल्कि इंदौर से चलने वाली अन्य टेªनें भी प्रभावित हो रही हैं। बस फिर क्या उन्होंने यात्रा के लिए रेल की आस छोड़कर इंडिगो फ्लाइट से 16 सितंबर की टिकट बुक कर ली। इसी बीच रेलवे विभाग ने 30 अगस्त को दोबारा मैसेज किया कि जो टिकट कैंसल की गई थी, उसे फिर से बहाल किया जा रहा है, यानी रेलवे ने अपना ब्लॉक कैंसिल कर दिया।
इधर बुजुर्ग अनिल गोडबोले जब रेलवे बुकिंग कार्यालय पहुंचे और अपनी बात रखते हुए कहा कि उन्होंने जानकारी के बाद फ्लाइट से टिकट बुक करवा ली है, लिहाजा उन्हें रेलवे द्वारा लिया गया उनकी टिकट का पैसा लौटाया जाए, तो टिकट खिडकी पर बैठे कर्मचारी ने उन्हें नियम समझाते हुए कहा कि इसमें राशि काटने के बाद उन्हें पैसा रिफंड मिलेगा। ठगाए से बुजुर्ग ने इस बात की शिकायत किसी जिम्मेदार से करना चाही, लेकिन कहीं भी उनकी कोई सुनवाई नहीं की गई। अंत में परेशान होकर उन्होंने अपनी बात दस्तक न्यूज डॉट कॉम को बताई।
इस मामले को लेकर दस्तक न्यूज डॉट कॉम ने रतलाम मंडल के पीआरओ खेमराज मीना से मोबाइल पर चर्चा की, तो उनका कहना था कि क्योंकि ब्लॉक कैंसल हो गया है और टेªन फिर से बहाल कर दी गई है, इसलिए रेलवे के नियम अनुसार चार्ज कटने के बाद ही पैसा लौटाया जाएगा।
अब इस पूरे घटनाक्रम में बुजुर्ग अनिल गोडबोले की क्या गलती ? उन्होंने तो रेलवे से मिली सूचना के बाद अपने लिए दूसरा विकल्प खोजा था, जिस पर उन्होंने 11659 रूपए भी खर्च किए। लेकिन रेलवे ने खुद ही अपने प्लान में बदलाव किया। लिहाजा रेल विभाग को अनिल गोडबोले को टिकट बुकिंग के लिए ली गई पूरी राशि लौटाना चाहिए।
बहरहाल ये तो केवल एक मामना है, जो सामने आया है इस तरह से और भी जाने कितने लोग रेल विभाग के इस तरह के नियम या रवैये से परेशान हो रहे होंगे। इस मामले में एक बात और समाने आई, वो ये कि 22 से 29 अगस्त के बीच जो भी लोग रेलवे बुकिंग कार्यालय पहुंचे थे, उन्हें रेल विभाग द्वारा पूरा पैसा लौटाया गया। लेकिन अब रेल विभाग ये कह कर मामले से कन्नी काट रहा है कि वो नियमों से बंधे हैं। जबकि रेलवे से मिली सूचना के बाद ही लोगों ने अपने लिए वैकल्पिक साधनों को तलाशा था।