नागिन को मरी हुई बेटी का पुर्नजन्म बताकर शुरू कर दिया पूजा-पाठ
इंदौर। शहर से 25 किमी दूर पलासिया (डकाच्या के पास) गांव में नागिन के जहरीले दांत तोड़कर, फन में सिंदूर लगाकर आस्था की वसूली चल रही है। यहां रहने वाले एक परिवार ने एक नागिन को देवी मानकर मंदिर में बैठा दिया है। यह सब उस सपने के संदर्भ में किया जा रहा कि 20 साल पहले उनकी 12 वर्षीय बेटी की सड़क हादसे में मौत हो गई थी। यह नागिन उसका पुनर्जन्म है।
सोशल मीडिया पर वायरल हुए इस वीडियो का सच जानने 'नईदुनिया' की टीम ने सांप के जानकार को मौके पर ले जाकर सच जानना चाहा तो पता चला कि नागिन के दांत तोड़ दिए गए हैं। नागिन पूरी तरह निढाल है। अब वह खिलौने की तरह है। जगदीश पिता मांगीलाल के परिवार ने कोबरा प्रजाति की नागिन को पकड़ रखा है। घर के अंदर एक कमरे में नागिन के लिए पूजा स्थान बना रखा है। लोगों की आवाजाही बढ़ने लगी तो उसने मंदिर भी बना लिया। उसमें मृत बेटी ललिता की फोटो रख दी।
वह बताता है कि नागिन उनकी बेटी ललिता है। 20 साल पहले डकाच्या में ललिता को डंपर ने कुचल दिया था। नागिन के फन पर सिंदूर लगाकर उसे देवी बताते हुए आसन पर बैठा रखा है। लोगों ने भी उसे देवी मान लिया और चढ़ावा चढ़ाने लगे।
सपने से शुरू हुई कहानी : जगदीश ने बताया कि मेरी भानजी पवित्रा (35) को 20 जून की रात सपने में ललिता नागिन के रूप में आई। उसने कहा कि मैं कल सुबह 6 बजे नागिन के रूप में घर आऊंगी। 21 जून की सुबह छह बजे नागिन हमारे घर के सामने पहुंची। जगदीश की पत्नी मनु बाई ने कहा कि मुझे भी सपने में ललिता दिखती थी।
तंत्र-मंत्र का धंधा नहीं चला तो नागिन ले आया
जगदीश ने बताया कि परिवार में पत्नी मनु बाई, बेटी शांता (21), कृष्णा (19), मधु (18), कल्पना (13) और बेटा नीलेश (22) है। बेटी शांता का विवाह मानपुर व मधु की शादी चेन्न्ई में हुई है। नीलेश एक नाबालिग लड़की के दुष्कर्म के मामले में जेल में बंद है। जगदीश पहले तो मजदूरी करता था, फिलहाल मजदूरी छोड़ दी है। गांववालों ने बताया कि जगदीश तंत्र-मंत्र, झाड़-फूक करने के अलावा ताबीज बांधता था। इसके बाद नागिन की यह कहानी सामने रखी।
कोई लाभ नहीं हुआ
पलासिया में रहने वाले अशोक रावत ने कहा कि वॉट्सएप पर मैसेज देखा तो नागिन को देखने आ गए। सतवास के कमल चौहान व दोस्त संजय जाटवा ने बताया कि नागिन देखी और जगदीश के परिवार से मिले। यह फर्जीवाड़ा है। आस्था के नाम पर खिलवाड़ हो रहा है। देवास से आई कुंताबाई चौहान ने नागिन को चढ़ावा चढ़ाया। उन्होंने बताया कि उनका भतीजा डेढ़ साल पहले लापता हो गया है। वह मिल जाए यही कामना लेकर आई। फिलहाल भतीजा नहीं मिला है।
- यह कोबरा प्रजाति की नागिन है। उम्र 9 साल और लंबाई ढाई फीट है।
- बारिश में सांप सूखे स्थान की तलाश में घरों में घुसते हैं।
- नागिन के जहर के दांतों को चार-पांच दिन पहले तोड़ दिया गया है। अब छोटे दो दांत आना शुरू हुए हैं। वह अभी काचली में है, इसलिए सुस्त है।
- नौ-दस दिनों से भूखी है इसलिए फुर्तीली नहीं है। सांप चूहे या मेंढक खाते हैं। जहर के दांत से वह शिकार करते हैं, जो उसके मुंह में नहीं हैं।
- नागिन बलखाती हुई चलती है, लेकिन इसमें वैसी चाल नहीं है। जब वह चलती है तो उसके बीच का हिस्सा मुड़ नहीं पा रहा है। नागिन वह हिस्सा घसीटते हुए चल रही है। उसकी वजह हो सकती है कि उसको झटका दिया गया हो। जिससे उसकी मांसपेशियां खिंच गईं और रेंग नहीं पा रही।
- लोगों को इससे बचने की जरूरत है। कोबरा प्रजाति का सांप जहरीला होता है। नागिन के जहर के दांत आ जाएंगे और काचली छोड़ देगी तो खतरनाक हो जाएगी।
नागिन को छुड़ाएंगे
वन्य प्राणी का प्रदर्शन करना नियम विरुद्ध है। जो काम सांप को पकड़ने के बाद सपेरा करता है जगदीश ने वही किया है। जल्द ही फोर्स के साथ गांव जाएंगे और नागिन को छुड़वाएंगे। -आरएन सक्सेना, एसडीओ वन विभाग