हम अब मस्ती की पाठशाला लगाएंगे, संभागायुक्त श्री पस्तोर ने रामवासा में बच्चों को पढ़ाया
उज्जैन । हम अब यहां मस्ती की पाठशाला लगाएंगे। आप जीवन में किसी भी क्षेत्र में जाएं, परन्तु मन में कोई शंका अथवा प्रश्न न रखें। सन्देहरहित होकर कड़ी मेहनत करोगे तो उन्नति के शिखर पर पहुंचोगे। महाभारत के युद्ध में अर्जुन के सारथी कृष्ण थे, जो अर्जुन को प्रेरित करते थे। वहीं कर्ण के सारथी शल्य थे जो उन्हें जीत के प्रति आशंकित करते थे। एक तरफ विश्वास, दूसरी तरफ सन्देह। विश्वास जीतता है सन्देह हारता है।
संभागायुक्त श्री रवीन्द्र पस्तोर ने आज शनिवार को उज्जैन जिले के ग्राम रामवासा के शास.माध्यमिक विद्यालय में जब बच्चों से यह बात कही तो वे प्रसन्न हो गए और खूब तालियां बजाईं। बच्चे संभागायुक्त से इतने घुलमिल गए कि बड़े मास्टर साहब की 40 मिनिट की कक्षा कब समाप्त हो गई पता ही नही चला। इस बीच संभागायुक्त ने बच्चों को स्वयं के विद्यार्थी जीवन के संस्मरण, कहानी-किस्से खूब सुनाए एवं सुने।
एक ही टीचर थे, बच्चे बच्चों को पढ़ाते थे
संभागायुक्त ने बच्चों को बताया कि वे जिस स्कूल में पढ़ते थे, वहां एक ही टीचर थे, जो बच्चों को सबक देकर चले जाते थे, फिर बच्चे ही बच्चों को पढ़ाते थे। इस पर बच्चे खूब हंसे। संभागायुक्त ने बच्चों से कहा कि वे किसी एक क्षेत्र का चयन करें तथा खूब मन लगाकर पढ़ें। उन्होंने एक किसान की कहानी सुनाकर बताया कि उसने अपने खेत में 5-5 फीट के 10 गड्ढे खोदे पर एक भी गहरा नहीं खोदा। पानी निकला नहीं, ऊपर से खेत भी खराब हो गया।
जो पढ़ो उसे जीवन में उतारो
संभागायुक्त ने बच्चों से कहा कि स्कूल में जो भी पढ़ो, सीखो उसे जीवन में उतारो। उन्होंने बच्चों से पंचतंत्र की एक कहानी सुनवाई, जिसमें बन्दर अपनी सूझबूझ एवं चतुराई से मगरमच्छ से अपनी जान बचाता है।
आपके बच्चे बहुत होशियार हैं
स्कूल के बच्चे संभागायुक्त के हरेक प्रश्न का पूरी ऊर्जा के साथ सही-सही जवाब दे रहे थे। इस पर श्री पस्तोर ने वहां के प्रधानाध्यापक से कहा कि आपके बच्चे बहुत होशियार हैं। आप लोग इन्हें अच्छी शिक्षा दे रहे हैं। उन्होंने स्कूल में विकसित किए गए बगीचे की भी प्रशंसा की तथा निर्देश दिए कि उद्यानिकी विभाग यहां ड्रिप सिंचाई पद्धति लगाए व पॉली हाऊस बनाए। उन्होंने प्रधानाचार्य से कहा कि स्कूल में जनभागीदारी योजना से बच्चों के व्यायाम के लिए जिमनेशियम भी बनाया जाए।