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आंध्रप्रदेश एक्सप्रेस में लगी भीषण आग, दो कोच में लगी आग, सामने आई लापरवाही, कोई यात्री हताहत नहीं



नई दिल्ली से ग्वालियर आ रही एपी एसी एक्सप्रेस सुबह 11.45 बजे लाइन क्लियर न होने से बिरला नगर पर रुकी। थोड़ी देर में सिग्नल हुआ, गाड़ी आगे बढ़ी अचानक कोच बी-6 से किसी ने चेन खींच दी जिससे गाड़ी फिर रुक गई। कोच बी-7 के टॉयलेट से धुआं उठ रहा था।

- कोच अटेंडेंट, मेंटेनेंस अमला कोच पर पहुंचा। इंजन से सातवें नंबर के कोच से धुआं उठता देख ड्राइवर व सहायक ड्राइवर भी अग्निशमन यंत्र लेकर पहंुचे लेकिन चार में से सिर्फ एक यंत्र ही काम कर सका। इस बीच आग पूरे कोच में फैल चुकी थी। तत्काल ग्वालियर स्टेशन और झांसी कंट्रोल को सूचना दी गई।

- बी-7 कोच में उत्तराखंड से ट्रैकिंग कर लौट रहे मप्र के 39 ट्रेनी डिप्टी कलेक्टर भी यात्रा कर रहे थे। हादसे में दो कोच पूरी तरह जल गए लेकिन कोई जनहानि नहीं हुई है।

- हादसे के बाद ट्रेन 4.10 घंटे बाद 4 बजे दो कोच बिरलानगर स्टेशन पर छोड़कर झांसी की ओर रवाना हो गई। हादसे के कारण दोनों ओर के ट्रैक पर 4 घंटे तक भोपाल जाने वाली ट्रेनें मथुरा, आगरा व मुरैना में खड़ी रहीं। अग्निकांड की जांच के लिए मुख्य संरक्षा अधिकारी एसके कश्यप अपनी टीम के साथ मंगलवार को ग्वालियर पहुचेंगे।

कहां- ग्वालियर के बिरला नगर रेलवे स्टेशन पर पुल के नीचे।

कब- सोमवार को 11.45 बजे बी-6 कोच के यात्री ने धुआं उठते देख चेन खींचकर ट्रेन को रोका।

कैसे- बी-7 कोच के टॉयलेट में रखी डस्टबिन से उठा धुआं जो भीषण आग में तब्दील हो गया।

लापरवाही के 2 कारण : ट्रेन के अंदर अिग्नशमन यंत्र खराब, बाहर दमकल की लचर व्यवस्था

अग्निशमन यंत्र ठीक होते तो नहीं भड़कती आग
यात्री की सूचना पर कोच अटेंडेंट व मेंटेनेंस अमले ने टॉयलेट से उठ रहे धुएं को काबू करने के लिए कोच बी-7 और बी-6 में लगे 2-2 अग्निशमन यंत्र का उपयोग किया, लेकिन चार में से एक यंत्र ही चला। 3 अग्निशमन यंत्र खराब थे। ड्राइवर भी अग्निशमन यंत्र लेकर पहुंचे लेकिन तब तक आग पूरे टॉयलेट में फेल चुकी थी।

पहले फोन नहीं उठा, फिर देर से पहंुची दमकल
स्टेशन मैनेजर ने दमकल दस्ते को फोन किया लेकिन फोन नहीं उठा। उसके बाद पुलिस कंट्रोल रूम को सूचना दी गई। इसके बावजूद घटनास्थल पर पहली दमकल 35 मिनट बाद पहुंची, इसका भी पाइप फटा था। दूसरी दमकल 5 मिनट बाद पहुंची तो उसका पानी जल्द खत्म हो गया। इससे आग पर काबू नहीं पाया जा सका।

पेंट्रीकार स्टाफ और सेना के जवानों ने की यात्रियों की मदद
बी-7 व बी-6 कोच में सेना के 20 जवान भी यात्रा कर रहे थे और बी-7 कोच के पास पेंट्रीकार लगा हुआ था। सेना के जवान व पेंट्रीकार के कर्मचारियों ने यात्रियों का सामान निकालने में मदद की। पेंट्रीकार का सामान कांच फोड़ कर जल्दी-जल्दी निकाला गया। ओएचई लाइन टूट कर ट्रेन पर गिरी जिससे करंट के डर से सेना के जवान व अन्य लोग फिर कोच में नहीं घुसे जिससे यात्रियों का सामान निकालने वाले जवानों का सामान भी कोच में जल गया।

आंखों देखी : स्टाफ सजग होता तो बच जाते कोच
डिप्टी कलेक्टर विदिशा (यात्री) आरती यादव ने बताया कि वाश रूम में मुझे वाश बेसिन के नीचे दीपक की लौ जैसी आग लगती दिखी और उसमें से धुआं निकल रहा था। बाहर आकर मैंने इसकी सूचना कोच अटेंडेंट को दी। उसने कहा ट्रेन रुकने पर कई बार धुआं उठता है। अगर वह समय पर ध्यान देता तो कोच नहीं जलते। 

ओएचई लाइन डाउन होने से आगे नहीं बढ़ी गाड़ी
एपी एसी एक्सप्रेस के सहायक पायलट धर्मेंद्र ने बताया कि अग्निशमन यंत्र के जरिए आग बुझाने के प्रयास सफल नहीं हो पाए। हमने बी-5 कोच की कपलिंग काटकर बी-6 कोच से अलग करने का प्रयास किया ताकि गाड़ी को आगे बढ़ाया जा सके। लेकिन ओएचई लाइन डाउन हो गई, गाड़ी भी आगे नहीं बढ़ा पाए। कुछ ही देर में तार पिघलकर नीचे गिर गया। 

कोच में फंसे थे यात्री, धुएं से कुछ दिख नहीं रहा था खिड़की पर हाथ मार रहे थे, नजर पड़ी तो बचाने दौड़े
- अाग लगने से कोचों में धुआं भर गया था। कुछ भी दिखाई नहीं दे रहा था। जब ट्रेन में आग लगने का अनाउंसमेंट हो रहा था, तब बी-7 कोच में दो यात्री सो रहे थे। कोच में धुआं ज्यादा भरने पर दोनों की नींद खुली। उन्होंने हाथ से खिड़कियां पीटना शुरू किया। यह देख मौके पर खड़े लोगों ने खिड़कियों के कांच तोड़े, कुछ लोग दूसरी तरफ से कोच में घुसे और फंसे हुए यात्रियों को बाहर निकाला। यह कहना है दिल्ली से नागपुर जा रहे नागपुर निवासी राजेश, संजय और पराग का। ये लोग अपने परिवार के साथ एपी एसी एक्सप्रेस के बी-2 कोच में सवार थे। 
- बी-7 बोगी में सवार विशाखापटनम जा रहे राजू ने कहा, भगदड़ के कारण मेरा सामान ट्रेन में छूट गया। एक बैग में कपड़े थे और एक बैग में मोबाइल चार्जर और 3000 रुपए थे। सीआरपीएफ में पदस्थ योगेश शर्मा को मंगलवार को ड्यूटी ज्वाॅइन करनी थी। कोच बी 6 में 66 और बी 7 में 75 यात्री सवार थे। 
- डिप्टी कलेक्टर आज शताब्दी से जाएंगे:ट्रेन से भोपाल जा रहे डिप्टी कलेक्टर ने अपनी यात्रा रद्द कर दी है। अब वे मंगलवार को शताब्दी एक्सप्रेस से भोपाल रवाना होंगे। 
- तत्काल बनाई हेल्प डेस्क: घटना बाद रेलवे प्रबंधन ने डिप्टी एसएस कार्यालय के बाहर हेल्प डेस्क बना दी। हेल्प डेस्क बनते ही यहां पर यात्रियों की भीड़ लग गई। अधिकांश यात्री हेल्प डेस्क पर जनरल टिकट वापसी के लिए पहुंचे थे।

तीन करोड़ से अधिक का नुकसान
रेलवे के कैरिज एंड वेगन के विभाग से एक मंडल अधिकारी के अनुसार, आग से नष्ट हुए कोच बिलकुल आधुनिक तकनीकी के हैं। एक कोच की लागत लगभग 1.50 करोड़ है। आग से दोनों कोच नष्ट हो गए इसलिए लगभग 3 करोड़ का नुकसान तो है ही। इसके अलावा ओएचई मेंटेनेंस और पेंट्रीकार कोच के कांच टूटने से भी नुकसान हुआ है।

एयरफोर्स की फायर ब्रिगेड से फेंका फोम
आग पर काबू न होने पर एयरफोर्स से भी मदद मांगी गई। बानमोर व एयरफोर्स की फायर ब्रिगेड भी मौके पर पहुंची लेकिन तब तक कोच लगभग पूरे जल चुके थे। एयरफोर्स के सुरक्षा कर्मी फोम के पाइप को लेकर कोच के अंदर पहुंचे और सुलग रही आग को बुझाया। एयरफोर्स के अमले ने बताया कि कोच में यात्रियों का काफी सामान भी जला है।

पुलिस व कुलियों ने की मदद
बिरलानगर स्टेशन से जब एपी एसी एक्सप्रेस को ग्वालियर स्टेशन के लिए रवाना किया गया तब यात्रियों के बच्चों व उनके सामान को कोच में चढ़ाने में वहां मौजूद पुलिस कर्मी व कुलियों ने आगे आकर मदद की। बिरलानगर स्टेशन पर मेंटेनेंस में लगे कर्मचारियों को पानी तक की व्यवस्था रेलवे अफसरों ने नहीं की थी। 

डीएसपी व आरक्षक घायल
ट्रेन के कोच की आग बुझाने के दौरान कोच के कांच फोड़ने की कोशिश में डीएसपी ट्रैफिक मनोज वर्मा व आरक्षक विद्याचरण शुक्ला के हाथ में चोट में लग गई।

प्लेटफार्म पर लगी यात्रियों की भीड़
प्लेटफार्म नंबर एक पर यात्रियों की भीड़ हो गई। ग्वालियर से भोपाल की ओर जाने वाली कई ट्रेनों के यात्री प्लेटफार्म पर इकट्ठे हो गए। एसी वेटिंग रूम खचाखच भर जाने से वहां घुटन का माहौल था।

भिंड जाने वाली दो ट्रेन रद्द, 7.30 घंटे देरी से आई ताज, आज भी होगी लेट
एसी एपी एक्सप्रेस में लगी आग के कारण सोमवार को जहां भिंड की आेर जाने वाली दो ट्रेन रद्द करनी पड़ीं। वहीं कई गाड़ियां दो से लेकर 8 घंटे तक लेट हुईं। ताज एक्सप्रेस 7.30 घंटे की देरी से शाम 7 बजे ग्वालियर आैर रात 9.05 बजे झांसी पहुंची। वहां सेरात 10 बजे ट्रेन वापस ग्वालियर के लिए रवाना होकर तड़के दिल्ली पहुंचने की संभावना जताई गई। एेसे में मंगलवार को भी ताज एक्सप्रेस के लेट होने की संभावना है।

ये ट्रेन आईं लेट :उदयपुर इंटरसिटी 9.45 घंटे । पंजाब मेल-8.15 घंटे । छत्तीसगढ़ आैर हीराकुण्ड 6.15 घंटे। झेलम-5.10 घंटे। मंगला- 5.35 घंटे। उत्कल 2.55 घंटे। सचखंड 3 घंटे की देरी से ग्वालियर पहुंची। इसी तरह डाउन ट्रैक दो घंटे तक बंद रहने से झांसी की आेर से आने वाली ट्रेन एक से दो घंटे तक लेट हुईं। इनमें एसीएपी एक्सप्रेस 1.45 घंटे। छत्तीसगढ़ 2.20 घंटे। झेलम 1.45 घंटे। खजुराहो इंटरसिटी 1.05 घंटे। पंजाबमेल 1.20 घंटे देरी से आई।

डाउन ट्रैक 2.10 बजे और अप ट्रैक 6.15 बजे शुरू हुआ: एपी एसी ट्रेन के रैक को ग्वालियर स्टेशन पर रवाना किए जाने के बाद दोपहर 2.10 बजे डाउन ट्रैक पर पहली ट्रेन समता एक्सप्रेस को ग्वालियर से आगरा के लिए रवाना किया गया। अप ट्रैक को ओएचई दुरुस्त करने के बाद 6.15 बजे शुरू किया गया। इस पर भिंड-ग्वालियर ट्रेन व छत्तीसगढ़ एक्सप्रेस को डीजल इंजन से रवाना करने के बाद मुरैना के आसपास रोकी गई गई पंजाब मेल, उदयपुर इंटरसिटी व ताज को ग्वालियर की ओर रवाना किया गया।

सीएम ट्वीट कर पुलिस के साहस को सलाम किया
- सीएम ने ट्वीट कर ट्रेन में आग पर काबू पाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले पुलिस के जवानों के साहस को सलाम किया है। उन्होंने लिखा, "अपनी जान की परवाह किए बगैर आग की चपेट में आए दोनों डिब्बों को ट्रेन से अलग करने वाले पुलिस के जवानों के साहस को सलाम। आपने कई जिंदगियों को सुरक्षित कर अपने कर्तव्य और निष्ठा का परिचय दिया है। हमारे ऐसे साहसी जवानों से युवाओं को प्रेरणा लेनी चाहिए। ग्वालियर के बिरला नगर रेलवे स्टेशन के पास एपी एक्सप्रेस में आग लगने के बाद ग्वालियर प्रशासन और पुलिस की तत्परता से जनहानि नहीं हुई। सभी यात्री, विशेषकर प्रशिक्षण से लौट रहे 37 डिप्टी कलेक्टर सकुशल हैं। मुस्तैदी से कार्य करने वाले अधिकारी और पुलिस बधाई और प्रसंशा के पात्र हैं।"

रेलवे ने जारी किया हेल्पलाइन नंबर
ग्वालियर
0751-2432799
0751-2432849

झांसी
0510-2440787
0510-2440790

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