गंभीर घायल दो युवाओं को दिया नवजीवन हाथ की कटी मुख्य नस को समय रहते जोड़ा-किडनी फटी, आंतें कटी फिर भी बचा लिया जीवन
उज्जैन। शहर के चिकित्सक डॉ. उमेश जेठवानी ने गंभीर घायल दो ऐसे युवाओं
को नवजीवन दिया जिनके सामने जीवन भर की विकलांगता या फिर मौत तक होने की
स्थिति निर्मित हो गई थी। एक मरीज की हाथ की मुख्य नस कटने के बाद भी उसे
समय रहते जोड़ा वहीं दूसरे को पेट में गंभीर घाव लगने पर फट चुकी किटनी और
कट चुकी आंतों को जोड़कर जीवन बचाया। अब तक ऐसे गंभीर मरीजों को इंदौर के
लिए रैफर किया जाता था और अधिकतर मामलों में रास्ते में ही मरीज दम तोड़
दिया करते थे।
विष्णु पांचाल उम्र 20 वर्ष निवासी बाढ़कुम्मेद का काम करते समय लकड़ी
काटने वाले ग्राइंडर से हाथ की मुख्य नस रेडियल व अलवर अरटरी और टेंडन कट
गये थे जिसके कारण विष्णु के हाथ से बहुत खून बह रहा था। विष्णु को गंभीर
स्थिति में श्री गुरूनानक अस्पताल में लाया गया जहां पर डॉ. उमेश जेठवानी
ने मरीज के हाथ का माइक्रोवास्क्युलर रिकंस्ट्रक्शन पध्दति से ऑपरेशन कर
हाथ की नसों और टेंडस को जोड़ा। वर्तमान समय में विष्णु का हाथ पूरी तरह
ठीक है और सामान्य रूप से काम कर रहा है। डॉ. उमेश जेठवानी के अनुसार इस
प्रकार की चोट में मरीज की नसों को 6 घंटे के भीतर ही जोड़ना संभव होता
है। यदि कटे हुए अंग को बर्फ की सिल्ले पर रखकर लाया जाए तो ऑपरेशन 12
घंटे के भीतर ही किया जा सकता है।
संजयसिंह चौहान उम्र 32 वर्ष निवासी भेरूगढ़ के पेट में धारदार हथियार से
चोट आने के बाद श्री गुरूनानक अस्पताल में अत्यंत गंभीर स्थिति में लाया
गया था। मरीज का बहुत अधिक खून बहने के कारण मरीज का ब्लड प्रेशर नहीं आ
रहा था। डॉ. उमेश जेठवानी ने मरीज के पेट का तुरंत ऑपरेशन कर चोट के कारण
फट चुकी दाई किडनी और आंतों को निकाला और आंतों को रिपेयर किया, पेट में
जमा 3.5 लीटर खून को निकाला। ऑपरेशन के बाद मरीज को आईसीयू में वेंटीलेटर
पर रखा गया और 6 बोतल खून चढ़ाया गया। अब मरीज की स्थिति बिल्कुल ठीक है
और वह सामान्य लोगों की तरह जीवन जी सकेगा।