पांव छुए और काम हो गया, मां खुद में शुभ मुहूर्त है
मदर्स डे को समर्पित रहा अभिव्यक्ति मंच-शहर की प्रतिभाओं ने दी प्रस्तुतियां
उज्जैन। क्या सीरत है, क्या सूरत है, वो तो ममता की मूरत है। पांव छुए और काम हो गया, मां खुद में शुभ मुहूर्त है।
रविवार रात अभिव्यक्ति मंच से मां के लिए लिखी पंक्तियां नन्हीं जुबां से निकली। संयोजक राजेश अग्रवाल के अनुसार कश्मीर में शहीदों को नमन कर श्रध्दांजलि देने के उपरांत कार्यक्रम प्रारंभ हुआ। मदर्स डे को समर्पित इस आयोजन में ख्याति पाल, शिवांगी श्रीवास, अवंतिका सिंह, गीता शिवांगी ग्रुप, देवांशी बैरागी, श्रेया गुप्ता, ज्योति चैरे आदि ने अपनी प्रस्तुतियां दी।