महाकाल मंदिर कर्मचारी के साथ मारपीट, बगैर परमिशन भस्मारती में जाने से रोकना पड़ा भारी
उज्जैन - महाकाल मंदिर में भस्मारती के दौरान प्रवेश को लेकर दो लोगों ने मंदिर कर्मचारियों के साथ विवाद किया और मारपीट की। मंदिर के गार्ड ओम योगी का आरोप है कि उज्जैन कोर्ट से आए दो कर्मचारी 10 लोगों की परमिशन पर 19 लोगों को अंदर ले जाने की बात कह रहे थे। जब उनसे परमिशन और आरएफआईडी बैंड दिखाने को कहा, तो उन्होंने अपशब्दों का प्रयोग करते हुए मारपीट शुरू कर दी। योगी का कहना था कि शुक्रवार को उनकी ड्यूटी मंदिर के गेट नंबर एक पर थी। जहां पर चेकिंग के बाद श्रद्धालुओं को प्रवेश दिया जा रहा था। इसी दौरान कोर्ट में काम करने वाले मोहन अजमेरी और सोनू जाटवा वहां आए। वे आरएफआईडी बेल्ट बांधे बगैर ही अपने साथ आए लोगों को मंदिर में प्रवेश कराना चाहते थे। उन्हें रोका तो विवाद करने लगे।
दरअसल श्री महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति ने भस्मारती में होने वाले अनाधिकृत प्रवेश को रोकने के लिए एक सप्ताह पहले ही व्यवस्था में बदलाव करते हुए रेडियो फ्रिक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन बैंड के माध्यम से ही आरती में प्रवेश देने का नियम लागू किया है। जिसके बाद से मंदिर के नाम पर ठगी और दलाली करने वालों का कारोबार लगभग बंद सा हो गया है। आपको बता दें कि प्रसिद्ध ज्योर्तिलिंग महाकालेश्वर मंदिर लोगों की मनमानी का गढ़ बनता जा रहा है। हालात ये हो गए हैं कि जिन लोगों के मन की नहीं होती वे मंदिर कर्मचारियों पर अपना गुस्सा निकालते हैं और उनसे मारपीट करने पर ऊतारू हो जाते हैं। पहले भी श्रद्धालुओं द्वारा मंदिर कर्मचारियों के साथ मारपीट किए जाने के कई वाक्या सामने आ चुके हैं। बहरहाल इस मामले में मंदिर समिति जांच के बाद कार्रवाई किए जाने की बात कह रही है।