उज्जैन में झोलाछाप डॉक्टरों पर एक माह से चल रही कार्रवाई के तहत बुधवार को स्वास्थ्य विभाग ने भेरूगढ़ क्षेत्र में तगड़ी कार्रवाई की।
उज्जैन में झोलाछाप डॉक्टरों पर एक माह से चल रही कार्रवाई के तहत बुधवार को स्वास्थ्य विभाग ने भेरूगढ़ क्षेत्र में तगड़ी कार्रवाई की।
स्वास्थ्य विभाग की टीम ने भेरूगढ़ क्षेत्र में तीन क्लीनिकों पर छापेमारी की। इस कार्रवाई के परिणामस्वरूप दो क्लीनिकों को सील कर दिया गया, जबकि एक क्लिनिक को अल्टीमेटम दिया गया है। यह कदम तब उठाया गया जब कलेक्टर के पास जनसुनवाई के दौरान की गई शिकायतों पर ध्यान दिया गया।
डॉ. विक्रम रघुवंशी के मुताबिक, वर्धमान क्लिनिक के डॉ. शुभम जैन के खिलाफ पूनम भंडारी द्वारा की गई शिकायत ने प्रमुख भूमिका निभाई। शिकायत में कहा गया था कि डॉ. जैन ने उनकी चार वर्षीय बेटी के इलाज के दौरान गलत इंजेक्शन लगा दिया था, जिससे बच्ची की हालत गंभीर हो गई। इस शिकायत के आधार पर 2023 में कलेक्टर से शिकायत की गई थी। बुधवार को इस शिकायत की जांच के बाद डॉ. जैन का क्लिनिक सील कर दिया गया।
इसके अतिरिक्त, भेरूगढ़ में नागोरी क्लिनिक संचालित करने वाले डॉ. वसीम नागोरी के खिलाफ भी शिकायत मिली थी। उनकी क्लिनिक को सात दिनों के लिए सील कर दिया गया है, और उन्हें सभी आवश्यक परमिशन प्राप्त करने के बाद ही क्लिनिक को फिर से खोलने की अनुमति दी जाएगी।
दोनों क्लीनिकों की सीलिंग के साथ-साथ आयुर्वेदिक डॉ. आजम नागोरी को भी एक अल्टीमेटम दिया गया है, जिसके तहत उन्हें अपनी प्रैक्टिस को वैध बनाने के लिए उचित दस्तावेज और परमिशन प्राप्त करनी होगी।
इस कार्रवाई में डॉ. विक्रम रघुवंशी, डॉ. प्रदीप सोमे और विकास राजपूत भी शामिल रहे, जिन्होंने इस अभियान को सफल बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। यह कार्रवाई स्पष्ट रूप से यह संदेश देती है कि स्वास्थ्य विभाग अवैध प्रैक्टिस के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के लिए प्रतिबद्ध है।