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Home - उज्जैन << उर्दू अकादमी के जश्ने आज़ादी मुशायरे में आलोक श्रीवास्तव और शकील आज़मी सहित विश्व विख्यात शायरों ने पेश किया अपना कलाम निज़ामी की प्रभावशाली निज़ामत "संचालन" की महत्वपूर्ण भूमिका रही

उर्दू अकादमी के जश्ने आज़ादी मुशायरे में आलोक श्रीवास्तव और शकील आज़मी सहित विश्व विख्यात शायरों ने पेश किया अपना कलाम निज़ामी की प्रभावशाली निज़ामत "संचालन" की महत्वपूर्ण भूमिका रही


उज्जैन- मध्य प्रदेश उर्दू अकादमी, संस्कृति परिषद, संस्कृति विभाग द्वारा देश के 78वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर "जश्ने आज़ादी मुशायरे" का आयोजन गत रात्रि को कालीदास अकादमी, उज्जैन में किया गया। कार्यक्रम के प्रारम्भ में अकादमी की निदेशक डाॅ नुसरत मेहदी ने कार्यक्रम के बारे में जानकारी देते हुए कहा जैसा कि आप सभी जानते है कि इस बार देश का 78वां स्वतंत्रता दिवस पूरे हर्षोल्लास के साथ मनाया गया और  9 अगस्त से 15 अगस्त तक पूरे देश में तिरंगा यात्राएं और रैलियां निकाली गईं। उर्दू अकादमी का कार्यक्रम "जश्ने आज़ादी मुशायरा" भी उसी सिलसिले की एक कड़ी है। उर्दू भाषा एवं साहित्य में शायरी एवं अन्य विधाओं में सभी रचनाकारों ने अपना किरदार बख़ूबी निभाया है। उर्दू साहित्यकार एवं शायर देश के स्वाधीनता आंदोलन में अन्य भाषाओं के साहित्यकारों एवं शायरों से किसी तरह पीछे नहीं रहे। जब हम स्वाधीनता आंदोलन के इतिहास का अध्यन करते हैं तो हमें अंदाज़ा होता है कि उर्दू साहित्यकारों, शायरों एवं पत्रकारों ने स्वाधीनता आंदोलन में बढ़ चढ़ कर हिस्सा लिया। आज भी उर्दू के शायर अपनी शायरी के माध्यम से मोहब्बत का पैग़ाम दे रहे हैं। आज का यह मुशायरा भी उसी परम्परा का हिस्सा है। इस मुशायरे में देश के ख्याति प्राप्त शायर अपना कलाम पेश कर रहे हैं। इसके अलावा मध्यप्रदेश अकादमी की ये कोशिश रहती है कि प्रदेश के किसी शहर में अगर कोई वरिष्ठ साहित्यकार या शायर उत्कृष्ट कार्य कर रहे हैं तो उनकी साहित्यिक सेवाओं के एतराफ़ में उनका सम्मान किया जाये। इसी कड़ी में आज डॉ ज़िया राना के ग़ज़ल संग्रह "सरहदे जां" का विमोचन भी इस कार्यक्रम में किया जा रहा है। मुशायरे की अध्यक्षता अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त शायर शकील आज़मी ने की। मुशायरे में जिन शायरों ने अपना कलाम पेश किया उनके नाम और कलाम इस प्रकार हैं। 

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