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लेना चाहते हैं "होम लोन" तो करें थोड़ा इंतजार,1 अप्रैल से मिल सकता है बड़ा फायदा


नई दिल्ली। वैसे तो रिजर्व बैंक पहले ही ब्याज दरों में कटौती कर चुका है लेकिन इसका फायदा बैंकों के माध्यम से आम आदमी तक नहीं पुहंचा है। हालांकि, पिछले दिनों एसबीआई, पीएनबी और बैंक ऑफ बड़ौदा के अलावा कईं बैंकों ने ब्याज दरों में कटौती की है लेकिन इसके बावजूद देश के ज्यादातर बैंको ने इस तरह का कोई कदम नहीं उठाया है।

पिछले दिनों रिजर्व बैंक ने इसे लेकर एक बैठक भी की थी और अब खबर है कि ब्याज दरों में कटौती का फायदा आम आदमी को मिल सकता है। खबरों के अनुसार 31 मार्च तक देश के कई बैंक ब्याद दरों में कटौती करने वाले हैं। अगर आप भी इसका फायदा लेना चाहते हैं तो 1 अप्रैल तक का इंतजार करना होगा।

रिपोर्ट्स में कहा गया है कि यह सभी बैंक 5 से 10 बेसिस पॉइंट की कटौती कर सकते हैं। बता दें कि रिजर्व बैंक ने रेपो रेट में 25 बेसिस पॉइंट की कटौती की थी। उसके बाद स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने ब्याज दरों में कटौती की थी वहीं पंजाब नेशनल बैंक ने भी हाल ही में ब्याज दरें घटाई थीं। इनके बाद बैंक ऑफ बड़ौदा ने लैंडिंग रेट्स में 10 बेसिस पॉइंट की कटौती की है।

आप उम्मीद कर सकते हैं कि अप्रैल, 2019 में जब बैंक अपनी नई दरों का निर्धारण करेंगे तो लोन की ब्याज दरों में भी कमी आएगी। बैंक अलग-अलग तरह के लोन पर कई तरह से ब्याज दरों की गणना करते हैं। मसलन, मार्जिनल कॉस्ट ऑफ फंड बेस्ड रेट यानी एमसीएलआर के साथ जुड़े लोन के मामले में ईएमआइ घटने की संभावना है।

लेकिन इसके लिए आपको लोन रिसेट डेट का इंतजार करना पड़ेगा। इस मामले में कुछ बैंक छह महीने की और कुछ एक साल की रिसेट डेट तय करते हैं। ऐसे में आपको ब्याज दरों में कमी के फायदे उठाने के लिए रिसेट डेट का इंतजार करना पड़ेगा।

बेस रेट से बेहतर एमसीएलआर: ब बात करते हैं बेस रेट से जुड़े होम लोन के बारे में। अगर आपका होम लोन बेस रेट या बेंचमार्क प्राइम लेंडिंग रेट (बीपीएलआर) से जुड़ा हुआ है तो आपको तत्काल एमसीएलआर आधारित होम लोन में शिफ्ट कर लेना चाहिए क्योंकि एमसीएलआर और एक्सटर्नल बेंचमार्क आधारित व्यवस्था में ज्यादा पारदर्शिता होती है।

नया लोन लेने वालों के लिए: अगर आप नया होम लेना चाहते हैं तो आपको भी एमसीएलआर आधारित लोन के पक्ष में फैसला करना चाहिए या फिर आपको एक्सटर्नल बेंचमार्क आधारित व्यवस्था का इंतजार करना चाहिए। बैंक अप्रैल, 2019 में इसकी घोषणा करेंगे। नए होम लोन ग्राहकों को प्रधानमंत्री आवास योजना में भी लोन लेने पर विचार करना चाहिए। सरकार ने इसकी अवधि मार्च, 2019 से बढ़ाकर मार्च, 2020 कर दी है।

बैंक कैसे तय करते हैं रेट: आपको बता दें कि अप्रैल, 2019 से बैंकों को अपनी ब्याज दरें तय करने के मामले में चार एक्सटर्नल बेंचमार्क में से किसी एक का इस्तेमाल करना होगा। ये चार बेंचमार्क इस प्रकार हैं

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया का रेपो रेट जो इस समय 6.25 फीसद है, केंद्र सरकार की 91 दिन के ट्रेजरी बिल की ब्याज दर, केंद्र सरकार की 182 दिन के ट्रेजरी बिल की ब्याज दर, फाइनेंशियल बेंचमार्क प्राइवेट लिमिटेड की बाजार आधारित ब्याज दर ।

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