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गऊघाट पर नीम, पीपल, बड़ की त्रिवेणी रोपकर हरितिमा अभियान का शुभारम्भ किया


 

1 हजार पौधे रोपे गये

उज्जैन । शिप्रा तट पर किये जाने वाले सघन पौधारोपण की शुरूआत आज गऊघाट पर ऊर्जा मंत्री श्री पारस जैन एवं संभागायुक्त श्री एमबी ओझा, महापौर श्रीमती मीना जोनवाल ने नीम, पीपल, बड़ की त्रिवेणी को रोपकर की। इस अवसर पर गऊघाट पर वन विभाग के सहयोग से 1 हजार से अधिक पौधों का रोपण किया जायेगा। शुरूआत में आज विभिन्न स्वयंसेवी संगठनों, शिप्रा शुद्धिकरण न्यास के सदस्यगणों एवं अधिकारियों द्वारा 300 से अधिक पौधे रोपे गये।

हरियाली के लिये सबकुछ करेंगे –मंत्री श्री पारस जैन

पौधारोपण कार्यक्रम के अवसर पर ऊर्जा मंत्री श्री पारस जैन ने कहा कि शिप्रा तट पर हरियाली के लिये सबकुछ किया जायेगा। इस कार्य के लिये धन की कमी नहीं आने दी जायेगी। उन्होंने कहा कि जब समाज किसी कार्य के लिये उठ खड़ा होता है तो कार्य की सफलता सुनिश्चित है। श्री जैन ने कहा कि पौधारोपण की शुरूआत आज त्रिवेणी रोपकर की गई है। त्रिवेणी में ब्रह्मा, विष्णु एवं महेश का वास होता है। उन्होंने कहा कि मोक्षदायिनी शिप्रा में गन्दे नालों को मिलने से रोकने के निरन्तर प्रयास हो रहे हैं। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने शिप्रा में नर्मदा का जल लाकर ऐतिहासिक कार्य किया है। शिप्रा नदी में रामघाट पर बोरिंग से भी निरन्तर पानी छोड़ा जा रहा है। मंत्री श्री जैन ने उज्जैन के जिला वन मण्डलाधिकारी श्री पीएन मिश्रा की कार्य प्रणाली की प्रशंसा करते हुए कहा कि जब से वे यहां पदस्थ हुए हैं, उनका ध्यान वृक्षारोपण पर ही लगा हुआ है और वे अच्छा काम कर रहे हैं। मंत्री श्री जैन ने इस अवसर पर त्वरित कविता की रचना कर उसका पाठ किया। उन्होंने कहा कि "पेड़ लगाओ-पेड़ लगाओ, हराभरा जीवन बनाओ, छाया ये हमको देते हैं, फल ये हमको देते हैं, हम भी पेड़ उगायें, तुम भी पेड़ उगाओ।" मंत्री श्री जैन ने कहा कि कॉर्पोरेट सोशल रिस्पाँसिबिलिटी के तहत विभिन्न निजी कंपनियों से शिप्रा तट पर हरितिमा लाने के लिये सहयोग लिया जायेगा।

कार्यक्रम में संभागायुक्त श्री एमबी ओझा ने कहा कि शिप्रा को हरितिमा की चादर ओढ़ाने के लिये आगे आये समाज सेवी लोगों का अभिनन्दन किया जाना चाहिये। उन्होंने कहा कि हरियाली हमारे जीवन का आधार है। शिप्रा कभी सदानीरा हुआ करती थी, कलकल बहती थी। इसका पुराना गौरव लौटाने के लिये शिप्रा तट के दोनों ओर सघन वन विकसित करना आवश्यक है। संभागायुक्त ने कहा कि शासकीय कार्यक्रम जब तक जन-आन्दोलन नहीं बनते, तब तक वे सफल नहीं हो सकते। जहां समर्पण भाव से काम होता है, वहां कभी अवरोध नहीं आता है। उन्होंने कहा कि शिप्रा शुद्धिकरण न्यास द्वारा पौधारोपण की दिशा में किये जा रहे कार्य निश्चित रूप से सफल होंगे।

महन्त रामेश्वरदास ने इस अवसर पर कहा कि मोक्षदायिनी शिप्रा नदी में गन्दे नालों को मिलने से रोकने का प्रयास करना आवश्यक है। त्रिवेणी से लेकर कालियादेह महल तक शिप्रा किनारे ट्यूबवेल लगाकर इनका पानी शिप्रा में छोड़ने से शिप्रा जल को निर्मल करने में सहायता मिलेगी।

कार्यक्रम के प्रारम्भ में वन मण्डलाधिकारी श्री पीएन मिश्रा ने कहा कि उज्जैन शहर में हरियाली को लेकर अच्छी चेतना है। यहां पर हरियाली कार्यक्रम को अत्यधिक जन-समर्थन मिल रहा है। इसी कारण कई स्थानों पर वन विभाग पौधारोपण कर उनकी रक्षा करने में सफल रहा है। पौधारोपण कार्यक्रम में सिंहस्थ मेला प्राधिकरण अध्यक्ष श्री दिवाकर नातू, श्री इकबालसिंह गांधी, समाजसेवी श्री सुरेन्द्रसिंह अरोरा, श्री राजीव पाहवा, श्रीमती पुष्पा चौरसिया, श्री गोपाल यादव, श्री अनन्तनारायण मीणा, श्री घनश्याम शर्मा, श्री गोविन्द खंडेलवाल, डॉ.विमल गर्ग, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री संदीप जीआर, श्री घनश्याम शर्मा, श्री शुभकरण शर्मा, रेंजर श्री गयाप्रसाद मिश्रा, श्री उदयराज पंवार सहित गणमान्य व्यक्ति मौजूद थे।

कविता का विमोचन

कार्यक्रम में संयुक्त आयुक्त श्री प्रतीक सोनवलकर द्वारा हरियाली पर लिखित 2 कविताओं के फोल्डर का विमोचन ऊर्जा मंत्री श्री पारस जैन, संभागायुक्त श्री एमबी ओझा एवं अतिथियों द्वारा किया गया। विमोचन के उपरान्त श्री सोनवलकर ने कविता पाठ भी किया। कार्यक्रम का संचालन श्री सुदर्शन आयाचित ने किया।

 

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