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भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार कल्याण मण्डल की अधिसूचनाओं में संशोधन


उज्जैन । भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार अधिनियम-1996 की धारा-22 सहपठित मप्र भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार नियम-2002 के नियम-277, 278 एवं 279 के अधीन प्रदत्त शक्तियों एवं प्रावधानों के अन्तर्गत राज्य शासन के पूर्व अनुमोदन से पांच योजनाओं में उल्लेखित प्रसुविधाओं से सम्बन्धित प्रक्रियात्मक तथा अवशिष्ट मामलों को अभिकथित करने वाली अधिसूचनाओं को निरस्त करते हुए नियमों में संशोधन किया है।
राजपत्र में प्रकाशित जानकारी के अनुसार औजार उपकरण खरीदी हेतु अनुदान योजना में संशोधन कर असंगठित श्रमिकों के लिये प्रवर्तित मुख्यमंत्री जनकल्याण संबल योजना के अन्तर्गत उन्नत व्यवसाय हेतु उपकरण अनुदान योजना में उल्लेखित पात्रता की शर्तों के अनुरूप पंजीकृत हिताधिकारी निर्माण श्रमिक को समान हितलाभ देय होगा। शिक्षा हेतु प्रोत्साहन राशि योजना-2004, मेधावी छात्र-छात्राओं को नगद पुरस्कार योजना-2004 एवं व्यावसायिक पाठ्यक्रम हेतु अध्ययन अनुदान योजना-2013 में संशोधन कर असंगठित श्रमिकों के लिये प्रवर्तित मुख्यमंत्री जनकल्याण संबल योजना के अन्तर्गत मुख्यमंत्री जनकल्याण हिताधिकारी के रूप में पंजीबद्ध निर्माण श्रमिकों की सन्तानों को योजना अन्तर्गत उल्लेखित पात्रता की शर्तों के अनुरूप समान हितलाभ देय होंगे। प्रसूति सहायता योजना में असंगठित श्रमिकों के लिये पात्रता की शर्तों के अनुरूप पंजीकृत महिला निर्माण श्रमिक अथवा हिताधिकारी के रूप में पंजीकृत निर्माण श्रमिक की पत्नी को समान हितलाभ देय होगा।
इसी प्रकार मृत्यु की दशा में अन्त्येष्टी सहायता एवं अनुग्रह भुगतान योजना में संशोधन कर असंगठित श्रमिकों के लिये पात्रता की शर्तों के अनुरूप निर्माण श्रमिक को भी समान हितलाभ देय होगा। व्यावसायिक पाठ्यक्रमों की प्रवेश परीक्षाओं की कोचिंग हेतु अनुदान योजना-2014 में अब पंजीबद्ध निर्माण श्रमिकों एवं उनके परिवार के सदस्यों को पात्रता की शर्तों के अनुरूप समान हितलाभ देय होगा।
अधिसूचना जारी दिनांक से अब मुख्यमंत्री भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार नगरीय आवास योजना-2018 कहलायेगी। यह योजना सम्पूर्ण मध्य प्रदेश के नगरीय क्षेत्रों में लागू होगी। यह योजना राजपत्र में प्रकाशन के दिनांक से लागू होगी। योजना भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकारों, जो अधिनियम की धारा-12 सहपठित नियम-272 के अन्तर्गत हिताधिकारी परिचय-पत्रधारी निर्माण श्रमिक हैं, उन पर लागू होगी। अधिनियम का आशय भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार अधिनियम-1996 से अभिप्रेत है। नियम का आशय मप्र भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार नियम-2002 से अभिप्रेत है।
योजना में लाभ प्राप्त करने हेतु ऐसे निर्माण श्रमिक, जिनका हिताधिकारी के रूप में पंजीयन उक्त योजना के राजपत्र में प्रकाशन के पूर्व हुआ है, वे योजना में हितलाभ प्राप्त करने हेतु पात्र होंगे। ऐसे निर्माण श्रमिक जिनका हिताधिकारी के रूप में अधिनियम के अन्तर्गत पंजीयन उक्त योजना के राजपत्र में प्रकाशन के पश्चात हुआ है, वे पंजीयन दिनांक से एक वर्ष उपरान्त योजना में लाभ प्राप्त करने हेतु पात्र होंगे। प्रधानमंत्री आवास योजना वर्तमान में नगरीय क्षेत्र में नगरीय विकास एवं आवास विभाग द्वारा संचालित की जा रही है। उक्त योजना के अन्तर्गत केन्द्र तथा राज्य सरकार द्वारा हितग्राही को अनुदान प्रदान किया जाता है। प्रधानमंत्री आवास योजना के अन्तर्गत नगरीय क्षेत्र में पात्र पाये गये हितग्राहियों में से यदि कोई हितग्राही पंजीकृत निर्माण श्रमिक है, तो उसे केन्द्र तथा राज्य सरकार से प्राप्त अनुदान के साथ-साथ अतिरिक्त रूप से एक लाख रूपये की सहायता राशि के रूप में मण्डल से नगरीय क्षेत्र में प्रधानमंत्री आवास योजना संचालित करने वाले नगरीय विकास एवं आवास विभाग को प्रदान किया जायेगा।
योजना अन्तर्गत पात्रता तथा आवेदन की प्रक्रिया प्रधानमंत्री आवास योजना के अनुरूप होगी। पात्र पाये गये पंजीकृत निर्माण श्रमिकों की सूची उनके यूनिक पोर्टल कोड के साथ एकजाई रूप से नगरीय क्षेत्र हेतु नगरीय विकास एवं आवास विभाग द्वारा सम्बन्धित जिले की सूची प्रतिमाह जिला श्रम कार्यालय को प्रेषित की जायेगी। इसी के आधार पर जिला श्रम कार्यालय द्वारा नगरीय क्षेत्र हेतु प्रति हितग्राही एक लाख रूपये की दर से सहायता राशि योजना संचालित करने वाले विभाग को ईपीओ पद्धति के माध्यम से भुगतान की जायेगी। चयन प्रक्रिया योजना के अनुरूप होगी तथा पंजीकृत निर्माण श्रमिक का चयन भी नगरीय क्षेत्र हेतु नगरीय विकास एवं आवास विभाग द्वारा किया जायेगा। सहायक राशि मात्र पंजीकृत निर्माण श्रमिक के लिये ही उपयोग में लाई जायेगी। विसंगति का निवारण योजना में उल्लेखित शर्तों, नियमों के अतिरिक्त यदि कोई विसंगति उत्पन्न होती है, उस स्थिति में मण्डल के सचिव का निर्णय अन्तिम होगा।

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