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पैसों की बर्बादी, रास्ता नहीं छोड़ा


उज्जैन से 46 किमी दूर बड़नगर के कजलाना में खेतों के बीच 175 बेड का 3 मंजिला सरकारी अस्पताल खड़ा है, लेकिन यहां पहुंचने के लिए सड़क बनाना अफसर भूल गए। कर्मचारियों के आवास और अस्पताल पर 16 करोड़ रु. खर्च हुए हैं। अस्पताल तक पहुंचने के लिए दो गेट बनाए गए हैं- एक गांव को जोड़ने वाला है व दूसरा हाईवे को।

मुख्य गेट के सामने 400 मीटर लंबा नाला है व दूसरे गेट के सामने खेत व जंगल है। ऐसे में रास्ता बनाना और भी मुश्किल है। अस्पताल में 24 आईसीयू बेड हैं। ऑपरेशन थियेटर से लेकर कई सुविधाएं दी हैं, ताकि मरीजों को रैफर न करना पड़े। जल्द उद्घाटन की तैयारी है, पर सवाल यह ​है कि मरीज यहां पहुंचेंगे कैसे?

सीएमएचओ डॉ. अशोक पटेल का कहना है कि लिंक रोड और कच्चे नाले को पक्का करना होगा। विधायक ने डीपीआर बनाने को कहा है। विधायक जितेंद्र पंडया का कहना है कि एप्रोच रोड बनने के बाद ही उद्घाटन होगा।

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