आज मनमहेश रूप में दर्शन देंगे बाबा महाकाल,सवारी में पहली बार एलईडी लगी गाड़ी से भी होंगे दर्शन
भगवान श्री महाकालेश्वर की श्रावण माह की पहली सवारी सोमवार 22 जुलाई को परम्परागत मार्ग से निकलेगी। इस विशेष अवसर पर श्रद्धालुओं के लिए दर्शन को और सुलभ बनाने के उद्देश्य से मंदिर समिति ने चलित एलईडी के माध्यम से सवारी के लाइव दर्शन की व्यवस्था की है।
सवारी मार्ग:
- महाकाल मंदिर से निकलकर महाकाल रोड, गुदरी चौराहा, बक्षी बाजार, कहारवाड़ी से रामघाट पहुंचेगी।
- रामघाट पर शिप्रा नदी के जल से भगवान का अभिषेक और पूजन-अर्चन होगा।
- इसके बाद सवारी रामानुजकोट, मोढ़ की धर्मशाला, कार्तिक चौक, खाती का मन्दिर, सत्यनारायण मन्दिर, ढाबा रोड, टंकी चौराहा, छत्रीचौक, गोपाल मन्दिर, पटनी बाजार, गुदरी बाजार से होती हुई पुनः श्री महाकालेश्वर मन्दिर पहुंचेगी।
सवारी के दौरान ध्यान रखने योग्य बातें:
- सवारी मार्ग में सड़क पर भट्टी या तेल का कड़ाव न रखें।
- दर्शनार्थी सवारी के उल्टी दिशा में न चलें, अपने स्थान पर खड़े रहें।
- गलियों में वाहन न रखें।
- सवारी के दौरान सिक्के, नारियल, केले, फल आदि न फेंकें, और न ही प्रसाद या चित्र वितरित करें।
- पालकी के आसपास अनावश्यक संख्या में लोग न रहें।
- पारंपरिक नौ भजन मंडलियां व झांझ, डमरू दल को ही शामिल किया जाएगा।
इस बार मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की मंशा अनुसार जनजातीय लोक कला एवं बोली विकास अकादमी के माध्यम से जनजातीय कलाकारों का दल भी सवारी में सहभागिता करेगा। धार के भील जनजातीय भगोरिया नृत्य के सदस्य भी सवारी में अपनी प्रस्तुति देंगे। चलित रथ के माध्यम से बाबा महाकाल की सवारी का लाइव प्रसारण किया जाएगा।