भोपाल से आदेश के बाद भवन तोड़ने का काम होगा शुरू
जिला अस्पताल की भूमि पर ही मेडिकल कॉलेज बनने के सारे रास्ते साफ हो गए हैं व अस्पताल की पुरानी बिल्डिंग के नष्टीकरण की प्रक्रिया भी जल्द शुरू होने वाली है, इसके लिए तैयारी की जा रही है। नष्टीकरण एस्टीमेट तैयार होने के बाद शासन से आदेश मिलते ही पुरानी बिल्डिंग को तोड़ने के टेंडर जारी होंगे।
जिला अस्पताल में मेडिकल कॉलेज बनाए जाने को लेकर शासन स्तर पर प्रक्रिया चुनाव के पहले ही शुरू हो गई थी व इसी कारण संचालक स्वास्थ्य सेवाएं पंकज जैन ने अस्पताल की भूमि का मुआयना कर वस्तुस्थिति पता की थी। अब जून से मेडिकल कॉलेज की दिशा में काम शुरू हो जाएगा। ऐसी पूरी-पूरी संभावना जताई जा रही है व इसके लिए स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी भी तैयारी में जुट गए है, क्योंकि जिला अस्पताल को माधवनगर व चरक अस्पताल में शिफ्ट किए जाने की भी प्रक्रिया में समय लगेगा। सीएमएचओ डॉ. अशोककुमार पटेल का कहना है कि भोपाल से जैसे निर्देश मिलेंगे, उस आधार पर काम होगा।
बिल्डिंग नष्टीकरण के लिए एस्टीमेट व टेंडर प्रक्रिया होती है, वह भी होगी, इसलिए अभी कुछ भी कहना जल्दबाजी होगी लेकिन हम अपनी तरफ से सारी तैयारी किए हुए हैं व शासन से जो दिशा-निर्देश मिलेंगे, उस अनुसार आगे का क्रियान्वयन किया जाएगा।
इशारा मिलते ही 50 बिस्तरीय क्रिटिकल ब्लॉक का काम रोका जिला अस्पताल में 100 बेड की नई बिल्डिंग बन चुकी है व इसके पास 50 बिस्तरीय क्रिटिकल केयर हेल्थ ब्लॉक 11 करोड़ 45 लाख रुपए की राशि से बनाए जाने का काम शुरू हुआ था, जो मेडिकल कॉलेज का इशारा मिलने के बाद रोक दिया गया। कोई नया निर्माण फिलहाल जिला अस्पताल में नहीं होगा। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना है कि ऐसे निर्देश शासन स्तर से मिले हैं, अब जो कुछ निर्णय होंगे, वह जून में ही लिए जाएंगे।