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जमीं के लिए मत लड़ो, इस पर किसी का अधिकार नहीं, झूठा अहंकार छोड़िये



श्रीमद् भागवत ज्ञानयज्ञ महोत्सव में हुआ रूक्मणि विवाह
उज्जैन। जमीन के हिस्से के लिए भाई, भाई का नहीं होता, एक दूसरे को मार देते हैं। पृथ्वी सबको देती है, उस पर किसी का अधिकार नहीं, मनुष्य तो परलोक चला जाता है पर भूमि तो अटल, अजर है, वह सबका पोषण करती है, सबको जीवन देती है, झूठा अहंकार छोड़िये मेरी जमीन-मेरी जमीन। जिस प्रकार गिरीराज पर्वत अपनी उंगली पर उठाने के बाद भी भगवान श्रीकृष्ण इसका श्रेय अपने सखा को दते हैं वैसे ही अपने किये सत्कार्यों का अहंकार नहीं करना चाहिये। 
यह बात श्री लक्ष्मी व्यंकटेश मंदिर रामानुजकोट में श्रीमद् भागवत ज्ञानयज्ञ महोत्सव के छठे दिन कथा व्यास एवं रामानुजकोट पीठाधीश्वर स्वामी रंगनाथाचार्य महाराज ने कही। डॉ. विनोद बैरागी के अनुसार जगद्गुरू श्यामनारायणाचार्य महाराज पीठाधीश्वर अयोध्या के सानिध्य में आयोजित भागवत कथा में शुक्रवार को स्वामी रंगनाथाचार्य महाराज ने गोकुल की लीलाओं में कालिया नाग का वध, राधाजी के साथ रासलीला की कथा सुनाई। महोत्सव में रूक्मणि विवाह उत्सव मनाया गया। आरती प्रियंक शर्मा, डॉ. एस.के. पांडे, गोपाल बैरागी, डॉ. एस.एल. शर्मा, मनोहर वैष्णव राजगढ़, पुरूषोत्तम शर्मा, सावन बजाज ने की। रामानुजकोट में प्रतिदिन दोपहर 1 से शाम 5 बजे तक भागवत कथा एवं प्रसंगों के आयोजन हो रहे हैं इसी कड़ी में आज शनिवार को सुदामा चरित्र के साथ कथा विश्राम होगा एवं हवन तथा प्रसादी का आयोजन होगा। स्व. बालारामदास, स्व. श्याणीबाई एवं स्व. लक्ष्मणदास बैरागी की पुण्यस्मृति में आयोजित भागवत कथा में धर्मलाभ लेने का अनुरोध बिंदुबाला बैरागी, डॉ. विनोद बैरागी, अनिता बैरागी, साकार बैरागी ने किया है। 

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