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'गरीब चुकाते है लोन, अमीर लेकर भाग जाते हैं।' : पीएम मोदी



मोदी सरकार ने अप्रैल 2015 में मुद्रा योजना की शुरुआत करते हुए देशभर में छोटे और मध्यम कारोबार शुरू करने के लिए लाखों करोड़ रुपये के आसान कर्ज बांटे. मंगलवार सुबह पीएम नरेंद्र मोदी नमो ऐप और वीडियो कॉन्‍फ्रेंसिंग के जरिए मुद्रा योजना के लाभार्थ‍ियों से रूबरू हुए.

'वित्‍त मंंत्री तक फोन कर लोन दिलवाते थे'
मुद्रा योजना के लाभार्थ‍ियों से वीडियो कॉन्‍फ्रेंसिंग करते हुए मोदी बोले कि पिछली सरकारों में लोन उनको मिलती थी, जिसकी पहचान होती थी. पिछली सरकारों में सीएम या वित्‍त मंत्री खुद फोन कर अपने पसंद के उद्यमियों को लोन दिलवाते थे. पीएम के अनुसार इस देश में एक ऐसा समय था ,जब वित्त मंत्री खुद फोन कर के बड़े उद्योगपतियों को लोन दिलवाने के लिये क्या कुछ नही करते थे, दूसरी तरफ एक छोटा उद्यमी साहूकारों का ब्याज देने के चक्कर में पूरी जिंदगी ब्याज के कर्ज में डूब जाता था. मुद्रा योजना ने ब्याजखोर लोगों से देश के युवा लोगों को बचाया है :
मोदी बोले कि पिछली सरकारों में राजनीतिक फायदों के लिए चलते थे लोन मेले. हम छोटे उद्यमियों को भी लोन देने के लिए मुद्रा योजना लेकर आए.  मुद्रा योजना से आम लोगों के हुनर को पहचान मिली. मुद्रा योजना के 12 करोड़ लोगों में से 55 प्रतिशत  लोन देश के SC/ST/OBC समाज के युवाओं और महिलाओं को मिला है. मुद्रा योजना के तहत 6 लाख करोड़ रुपये लोन दिए गए.

सबसे ज्‍यादा लोन म‍हि‍लाओं और दलितों को
पीएम ने दावा कि मुद्रा योजना के तहत सबसे ज्‍यादा लोन महिलाओं, गरीब दलित लोगों को मिला है. मुद्रा योजना से युवाओं का पलायन रोका. लाभार्थ‍ियों से बातचीत करते हुए मोदी बोले कि मुद्रा योजना में बैंकों को सलाह दूंगा कि रिसर्च प्रोजेक्‍ट पर ज्‍यादा से ज्‍यादा लोन दें.

पीएम मोदी ने यह भी कहा कि आजादी के बाद से ही हमारे देश में लाइसेंस राज की बीमारी हमने देखी है, लोन उसे मिलता था जिसकी पहचान होती थी, या नाम होता था, इस बहाने देश के मध्यम निम्न वर्ग को सिस्टम से बाहर खड़ा कर दिया गया, क्योंकि उसका ना नाम था, ना सिफारिश थी.

पिछली सरकारों में राजनीतिक फायदों के लिए चलते थे लोन मेले
मोदी के अनुसार आज से 25 - 30 साल पहले पॉलिटिकल बैनिफिट के लिये लोन मेले चलते थे, और जो राजनैतिक लोग थे, उनके साथ चेले चपाटे, ठेकेदार, वोटबैंक की राजनीति, ये बैंकों से रुपये मार ले जाते थे. हमने ये सिस्‍टम बदला था. हमने न लोन मेले किये, ना बिचौलिये को जगह दी, देश के नौजवान, मातायें बहने, जो खुद कुछ कार्य करना चाहते हैं, हमने अपने छोटे उद्यमियों पर उनके बिजनेस स्किल पर भरोसा किया, मुद्रा योजना के तहत उन्हें लोन दिया गया, तकि वो अपना कारोबार खोल सकें

मोदी ने वीडियो कॉन्‍फ्रेंसिंग की शुरुआत में कहा कि मुझे मुद्रा योजना के कुछ लाभार्थियों के साथ बात करने का अवसर मिला, उनके संघर्ष, अनुभव, तरक्की की कहानियां संतोष भी देती है और मन को गर्व से प्रफुल्लित भी करती हैं. हमने हमारे छोटे उद्यमियों पर भरोसा किया. मुद्रा योजना के तहत उनको लोन दिया गया ताकि वो अपना कारोबार कर सके. मुद्रा योजना से न केवल स्वरोज़गार के अवसर बने बल्कि ये अपने आप में जॉब-मल्टीप्लायर के रूप में काम कर रहा है.

'28 प्रतिशत लोन पहली बार कारोबार शुरू करने वाले लोगों को'
मुद्रा योजना पर मोदी बोले कि कई बार सरकार के पास योजनाओं के लिये फंड होता है लेकिन उसका उपयोग नहीं होता, लेकिन मुद्रा एक ऐसी योजना है जिसमें लक्ष्य से अधिक लोन दिये गये हैं, और 28 प्रतिशत  लोन उन्हें दिये गये जिन्होंने पहली बार अपना काम शुरू किया है. बिना बैंक गारंटी, कम ब्याज दरों पर कर्ज मिलने पर युवा अपने शहर या गांवो में रहते ही अपने दम पर कोई ना कोई रोजगार शुरु करता, आज गरीब से गरीब व्यक्ति को मुद्रा लोन मिल रहा है, सामान्य व्यक्ति भी मुद्रा लोन की मदद से उद्यमी बन सकता है.

लाभार्थियों ने बताई सक्‍सेस स्‍टोरी
मुद्रा योजना लाभार्थ‍ी नासिक के हरि गणौर ठाकुर ने बताया कि इस योजना ने उनकी जिंदगी बदल दी. मुद्रा योजना लाभार्थ‍ी कर्नाटक के मंजुनाथ ने बताया कि उन्‍होंने सरकारी नौकरी की जगह मुद्रा योजना से लोन लेकर अपना बिजनेस शुरू किया. अब वह समय से लोन भी चुका रहे हैं और 4 लोगों को रोजगार भी दे रहे हैं. मुद्रा योजना लाभार्थ‍ी असम के हृदय डेका ने बताया कि मुद्रा लोन लेकर उन्‍होंने अपने चाय के बिजनेस को आगे बढाया. पीएम ने इस पर कहा कि मतलब आप भी मेरे जैसे हो.

लोन लेकर भागने वालों पर निशाना
लाभार्थ‍ि‍यों की सक्‍सेस स्‍टोरी सुनकर पीएम मोदी बोले कि बड़े लोग लोन लेकर भागते हैं, गरीब लोग लोन चुकाकर सम्‍मान की जिंदगी जीना जानते हैं.

आपको बता दें कि मुद्रा योजना के तहत इस कर्ज को बांटने के पीछे सरकार की मंशा कारोबार को बूस्ट देने के साथ-साथ देश में रोजगार के नए संसाधन पैदा करना था.

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