पुलिस का कॉल आते ही ऑटो चालक पहुंचा थाने, लौटाया मुंबई के श्रद्धालु का बैग
शहर में पुलिस का कॉल आते ही चालक ने अपनी ऑटो के अंदर देखा और बैग दिखाई देने पर थाने लेकर पहुंच गया। पुलिस ने मुम्बई से आये श्रद्धालुओं को उनका बैग वापस लौटाया। ऑटो पर यूनिक नबंर होने से श्रद्धालुओं को उनका बैग वापस मिलना बताया जा रहा है।मुंबई के अंधेरी से त्रिशुल पिता गोपाल सोनी महाकाल दर्शन करने के लिये ट्रेन से उज्जैन पहुंचे थे। स्टेशन से ऑटो में सवार होने के बाद मंदिर के लिये रवाना हुए। उनकी बेटी से मोबाइल से वीडियो बनाना शुरू कर दिया। चारधाम पहुंचने के बाद चालक ने उन्हें ऑटो से उतार दिया और मंदिर का रास्ता बताकर लौट गया, तभी सोनी परिवार को बैग ऑटो में छूटने का अहसास हुआ।
शहर में पुलिस का कॉल आते ही चालक ने अपनी ऑटो के अंदर देखा और बैग दिखाई देने पर थाने लेकर पहुंच गया। पुलिस ने मुम्बई से आये श्रद्धालुओं को उनका बैग वापस लौटाया। ऑटो पर यूनिक नबंर होने से श्रद्धालुओं को उनका बैग वापस मिलना बताया जा रहा है।
मुंबई के अंधेरी से त्रिशुल पिता गोपाल सोनी महाकाल दर्शन करने के लिये ट्रेन से उज्जैन पहुंचे थे। स्टेशन से ऑटो में सवार होने के बाद मंदिर के लिये रवाना हुए। उनकी बेटी से मोबाइल से वीडियो बनाना शुरू कर दिया। चारधाम पहुंचने के बाद चालक ने उन्हें ऑटो से उतार दिया और मंदिर का रास्ता बताकर लौट गया, तभी सोनी परिवार को बैग ऑटो में छूटने का अहसास हुआ।
जिसके बाद वह महाकाल थाने पहुंचे और पुलिस को शिकायत की, लेकिन ऑटो का नंबर याद नहीं होने पर पुलिस तत्काल तलाश करने में असमर्थ दिखाई दी। तभी सोनी परिवार की बेटी ने बताया कि उसने ऑटो में बैठकर मोबाइल से वीडियो बनाया था, जिस रोड से वह आये थे। पुलिस ने वीडियो देखा, जिसमें आटो के कांच पर लगा यूनिक नंबर 1704 दिखाई दिया।
ऑटो और ई-रिक्शा पर यूनिक नबंर अपडेट
इसी आधार पर पुलिस ने यातायात पुलिस की मदद से चालक का मोबाइल नंबर पता कर उसे कॉल किया। चालक काजीपुरा का रहने वाला विष्णु पिता नाथूसिंह था। पुलिस ने उससे बैग की जानकारी ली। उसने अपनी ऑटो की सीट के पीछे देखा, जहां बैग रखा था। वह बैग लेकर कुछ देर में ही थाने पहुंच गया। गौरतलब हो कि यातायात पुलिस ने शहर में संचालित होने वाले ऑटो और ई-रिक्शा पर यूनिक नबंर अपडेट किये है। जिससे आसानी के साथ चालक का पता लगाया जा सकता है।