राहगीरांे की आंख में मोयला मच्छर जाने से दुर्घटना की आशंका नागदा6 घंटे पहले
बदलते मौसम व फसलों की कटाई से शहर सहित क्षेत्र में मोयला मच्छर तेजी से बढ़ रहा है। वाहन चालक इससे अपनी आंखों को बचाते नजर आने लगे हैं। हाल यह है कि शहर में बड़ी संख्या में मोयला हवा में उड़ते अलग ही नजर आ रहे हैं । इनके आंखों में गिरने से इंफेक्शन का खतरा रहता है। यही नहीं, अगर इसे सही तरीके से निकाला नहीं जाए तो मोतियाबिंद या काला पानी सहित आंखों से जुड़ी अन्य बीमारियां भी हो सकती है। यह खासकर सुबह सूर्य निकलने और दोपहर बाद काफी सक्रिय रहते हैं। दोपहर में धूप तेज रहने पर यह कीट नष्ट भी हो जाता है। थोड़े समय के लिए पनपता यह जीव व्यक्ति की आंखों में गिरकर आंखों के रोग फैलाते हैं।
मोयला अक्सर सरसों की फसल में फूल आने पर लगता है। खासकर फरवरी-मार्च में सक्रिय रहता है। इस समय अधिकतम तापमान 25 डिग्री सेल्सियस से अधिक होने पर मोयला अधिक संख्या में फैलता है। यह फसल रायड़े व जीरे सहित रबी की विभिन्न फसलों में झुंड के रूप में बैठकर फसलों से रस चूसता है और पूरी फसलों को नष्ट कर देता है।
यह बरतें सावधानी : मेडिकल ऑफिसर डॉ. गौरव पटेल ने बताया मोयला कीट मौसम में आ रहे बदलाव के कारण काफी सक्रिय हो जाता है। वाहन चालकों को परिवहन करते समय चश्मे और हेलमेट का उपयोग करना चाहिए। मोयले के आंखें में गिरने से हाथ या रुमाल से निकालने पर इंफेक्शन हो सकता है। इसको आंखों से निकालने के लिए गर्म किए हुए पानी को ठंडा कर उसी पानी से आंख को अच्छी तरह धोना चाहिए। मोयले के कारण आईफ्लू की बीमारी फैलती है। दो या तीन दिन तक आंखों में जलन, आंखों में पानी आने पर डॉक्टर की सलाह पर आई ड्रॉप डालना चाहिए। आंख में मोयले गिरने के बाद भी इलाज में लापरवाही बरतने पर उससे कॉर्निय