भारतीय ज्ञान परंपरा वैभवशाली और समाज वर्धक है
उज्जैन| भारतीय ज्ञान परंपरा वैभवशाली और समाज वर्धक है। हमें उस का मूल्यांकन पश्चिमी दृष्टि से नहीं करना चाहिए। भारत सरकार संपूर्ण समाज के उत्थान के लिए सूक्ष्मता से काम कर रही है। यह अंतरिम बजट महत्वपूर्ण है। शिक्षित समाज ही विकसित समाज बन पाता है। समाज में शिक्षा का महत्व है।
शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास नई दिल्ली की आत्मनिर्भर भारत अभियान के राष्ट्रीय संयोजक ओम शर्मा ने यह बात कही। न्यास के प्रचार प्रसार संयोजक डॉ. जफर महमूद ने बताया कि न्यास और रेडिएंट ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूट जबलपुर के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित शिक्षा, बजट और आत्मनिर्भर भारत पर हुई आभासी राष्ट्रीय संगोष्ठी में स्वागत नितिन भसेड़िया ने दिया। पंडित रविशंकर विश्वविद्यालय रायपुर के प्रो. रवींद्र ब्रहमे ने मुख्य अतिथि के रूप में कहा कि भारत सरकार का बजट प्रगतिशील बजट है। इस बजट को विकसित भारत की कल्पना को दृष्टिगत रखते हुए बनाया गया है। आत्मनिर्भर अभियान के मध्य क्षेत्र संयोजक डॉ. देवेंद्र विश्वकर्मा ने कहा कि बजट से विकास कार्य होते हैं। गोष्ठी का संचालन डॉ. कुबेर सिंह गुरुपंच ने किया। आभार डॉ. नीलेश शर्मा ने माना।