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इमरती देवी बोली-अगर कमलनाथ पर एससी-एसटभ्‍ के तहत केस दर्ज नहीं हुआ तो जान दे दूंगी



ग्‍वालियर। डबरा में चुनावी सभा में कमल नाथ की अशोभनीय टिप्पणी के बाद ग्वालियर-चंबल में दिनभर राजनीति गरमाई रही। भाजपा प्रत्याशी व मंत्री इमरती देवी सोमवार को कमल नाथ पर जमकर हमला बोला। डबरा में पत्रकारों से बात करते-करते वह इतनी उद्वेलित हो गईं कि रो पड़ीं। इमरती देवी ने कमल नाथ को कभी कलंक नाथ कहा तो कभी राक्षस से तुलना की। उन्होंने पत्रकारों से कहा कि अगर कमल नाथ और अजय सिंह पर हरिजन एक्ट नहीं लगा तो जान दे दूंगी।

इमरती देवी ने कहा कि एक अजा महिला से इस तरह बोलना ठीक नहीं है। वो बंगाली आदमी है। उसे बोलने की सभ्यता नहीं है। मुख्यमंत्री पद से हटने के बाद पागल हो गया है। वो क्या है, हम सब जानते हैं। इमरती देवी ने कहा कि मुझपर जो अशोभनीय बात कही है। यह टिप्पणी उनके स्वजन के लिए होगी। ये मध्यप्रदेश है यहां महिलाओं की पूजा होती है।

मैं पैर छूती थी: इमरती देवी ने कमल नाथक की तुलना राक्षस से की। उन्होंने कहा कि मैं कमल नाथ का पैर छूती तो भगा देते थे। तू-तड़ाक कर बोलते थे। मैं राक्षस मानती हूं।

डबरा विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी और महिला एवं बाल विकास मंत्री इमरती देवी पर रविवार को की गई अमर्यादित टिप्पणी से मचा बवाल दूसरे दिन सोमवार को भी नहीं थमा। विरोध स्वरूप भाजपा नेताओं ने प्रदेश भर में दो घंटे का मौन उपवास रखा।

भोपाल के मिंटो हॉल में गांधी प्रतिमा के समक्ष मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान दो घंटे मौन उपवास पर रहे। उन्होंने कमल नाथ पर आरोप लगाते हुए कांग्रेस की अंतरिम राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखकर कई सवाल किए।इसके बाद देर शाम कमल नाथ ने भी शिवराज को पत्र लिखा है।

शिवराज ने कहा कि अनुसूचित जाति वर्ग की बेटी के अपमान के लिए कमल नाथ को सभी पार्टी पदों से हटाया जाए। इधर, कांग्रेस ने इस मौन उपवास को नौटंकी बताया। राज्यसभा सदस्य दिग्विजय सिंह ने कहा कि इसकी जरूरत ही क्या थी? उपवास के बाद शिवराज सिंह ने कहा कि मैंने मैडम सोनिया गांधी से सवाल किया कि क्या यह टिप्पणी माताओं और बहनों के खिलाफ नहीं है। एससी वर्ग की महिला के खिलाफ नहीं है। क्या आप इसे बर्दाश्त करेंगी? अगर आपको लगता है कि यह टिप्पणी अमर्यादित है तो क्या आप उन्हें पार्टी पदों से हटाएंगी या इस निर्लज्ज नेता को माताओं-बहनों का अपमान करते हुए देखेंगी। आप कार्रवाई करो या फिर यह मान लूंगा कि पूरी कांग्रेस महिलाओं का अपमान करने वालों के साथ खड़ी है।

शिवराज ने कहा कि अशोभनीय शब्द दो बार कहा गया। पहली टिप्पणी पर अट्टाहास लगाया। दूसरी बार टिप्पणी की तो चेहरे पर अफसोस नहीं था। हमें लगा कि हम ध्यान दिलाएंगे तो कमल नाथ खेद प्रकट करेंगे, लेकिन बेशर्मी की हद है। वे उस अपशब्द का अर्थ हमें समझा रहे हैं और जायज ठहरा रहे हैं।

मीनाक्षी नटराजन का भी लगा पोस्टर
कार्यक्रम स्थल पर महिलाओं को लेकर कांग्रेस नेताओं द्वारा पूर्व में की गई टिप्पणियों के पोस्टर भी लगे थे। भाजपा नेताओं स्मृति ईरानी, प्रज्ञा ठाकुर, इमरती देवी के साथ कांग्रेस नेता मीनाक्षी नटराजन का पोस्टर भी लगा था। इसमें पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह द्वारा नटराजन को लेकर की गई एक अमर्यादित टिप्पणी का जिक्र था। कार्यक्रम में गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा, मंत्री विश्वास सारंग, विधायक कृष्णा गौर सहित कई मंत्री और वरिष्ठ नेता मौजूद थे।

उधर कार्यक्रम में महिला मोर्चा की पदाधिकारी और कार्यकर्ता हाथों में पोस्टर लिए महिला अपमान का विरोध कर रही थीं।

अनुसूचित जाति का भी अपमान किया
इंदौर में मौन उपवास में राज्यसभा सदस्य ज्योतिरादित्य सिंधिया भी शामिल हुए। उन्होंने कहा कि कमल नाथ और अजय सिंह ने सिर्फ महिला नहीं, अनुसूचित जाति का भी अपमान किया है। उधर, ग्वालियर में भाजपा प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा, केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर आदि मौन उपवास पर रहे।

राष्ट्रीय महिला आयोग देगा नोटिस
कमल नाथ के बयान को लेकर राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने कहा है कि वे कांग्रेस नेता को नोटिस जारी करेंगी। वे इस मामले में चुनाव आयोग को भी जानकारी दे रही हैं।

महिला के अपमान पर माफी मांगे कांग्रेस आलाकमान : मायावती
कमल नाथ की टिप्पणी को लेकर बसपा ने भी मोर्चा संभाल लिया है। पार्टी सुप्रीमो मायावती ने मामले में कांग्रेस आलाकमान पर निशाना साधते हुए महिला के अपमान पर माफी मांगने को कहा है। उन्होंने महिलाओं का अपमान रोकने और कांग्रेस को इस बारे में सबक सिखाने के लिए अनुसूचित जाति वर्ग के लोगों से अपील की कि वे बसपा का साथ दें।

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