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खेलों से होता है एकता, सदभावना, राष्ट्र भक्ति, समरसता का शंखनाद



उज्जैन। जय-पराजय से जीवन जीने की कला प्राप्त होती हैं। मेहनत को पसीने की चाशनी में डुबाकर कुन्दन सा महकाने वाले खिलाड़ी ही राष्ट्र का तिरंगा लहराते हैं।
उक्त खेल उद्गार राष्ट्रपति अलंकरण से सम्मानित, उज्जैन जिला ओलंपिक एसोसिएशन के सचिव, प्रधानाचार्य शैलेन्द्र व्यास (स्वामी मुस्कुराके) ने सव्यसाची विद्यापीठ में आयोजित वार्षिक खेल समारोह अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में व्यक्त किये। समारोह की अध्यक्षता विद्यापीठ के निदेशक समाजसेवी प्रदीप अग्रवाल ने की। स्वागत प्राचार्य सेकत चंद्रा, आर सी मेहता, सचिन ठाकुर, मनोहर वाटरकर, अंजू परते ने किया। संगीत शिक्षक महेंद्र बुआ के मार्गदर्शन में छात्र- छात्राओं ने राष्ट्रभक्ति गीत एवं सरस्वती वंदना प्रस्तुत की। स्वामी मुस्कुराके द्वारा खेल महोत्सव शुभारम्भ की उदघोषणा की गई। गुब्बारों के आकाश गमन एवं हर्ष फॉयर के साथ जय हिंद की ध्वनि से देश भक्ति का संचार हुआ। संचालन संगीता भदौरिया ने किया एवं आभार आशुतोष रावल ने माना। खेल महोत्सव पर क्रिकेट, रेस, फुटबाल, चैस, बैडमिंटन, व्हालीबाल, कैरम आदि खेलों का आयोजन किया गया। चेयर मेन प्रदीप अग्रवाल द्वारा स्वामी मुस्कुराके को स्मृति चिन्ह प्रदान कर सम्मानित किया गया। 

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