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लंदन में पीएम मोदी भारतीय समुदाय से रूबरू, सर्जिकल स्‍ट्राइक का खोला राज, बताया अपनी फिटनेस का राज



लंदन: अपनी छह दिनों की यूरोप यात्रा में प्रधानमंत्री मोदी ब्रिटेन में है। भारतीयों को संबोधित करने के लिए पीएम मोदी सेंट्रल हॉल वेस्टमिंस्टर में पहुंचे। पीएम मोदी 'भारत की बात सबके साथ' कार्यक्रम में भारतीय समुदाय के लोगों को संबोधित किया। गौरतलब है कि जिस हॉल से पीएम मोदी ने लोगों को संबोधित किया उसका अपना एक अनोखा इतिहास है। दरअसल, यह हॉल पहले मेथोडिस्ट सेंट्रल हॉल के नाम से जाना जाता था। यह लंदन के सबसे बड़े मल्टी परपस वेन्यू में से एक है। यहां 1946 में पहली बार संयुक्त राष्ट्र सभा का आयोजन किया गया था। इसी हॉल में वर्ष 1931 में महात्मा गांधी ने भाषण दिया था। महात्मा गांधी के अलावा मार्टिन लूथर किंग, दलाई लामा और प्रिंसेस डाइना भी यहां भाषण दे चुके हैं।

प्रसून जोशी ने एक कविता सुनाकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बातचीत की शुरुआत की। गीतकार पुण्य प्रसून बाजपेयी उनसे सवाल जवाब किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यक्रम में पहुंचते ही भारत माता की जय के नारे लगे, लोगों ने तालियों की गड़गड़ाहट के साथ मोदी का स्वागत किया। जानकारी के मुताबिक कार्यक्रम में दुनिया भर के 2 हजार लोगों ने हिस्सा लिया। बता दें इससे पहले स्वीडन में भी पीएम मोदी ने भारतीय समुदाय को संबोधित किया था। पीएम मोदी अौर प्रसून जोशी के सवाल- जबाव के कुछ अंश- 

सेना के जवानों पर गर्व है
सर्जिकल स्ट्राइक के मुद्दे पर पीएम मोदी ने कहा हमारे जवानों को टेंट में सोए हुए को कोई बुजदिल आकर मौत के घाट उतार दे क्या आप चाहते हैं कि मैं चुप रहूं, इसलिए सर्जिकल स्ट्राइक किया जो योजना बनी थी उसको शत-प्रतिशत इंप्लीमेंट किया और सूर्योदय होने से पहले सब वापस आ गए। मैंने अपने ऑफिसर से कहा कि पाकिस्तान की फौज को फोन करके बता दो कि आज रात हमने ये किया ये लाशे वहां पड़ी होंगी उन्हें ले जाओ, मैं सबसे पहले पाकिस्तान को बताया।सेना की आलोचना करने वालों की भगवान सद्बुद्धि दे। 

देश के लिए अच्छा करने में कोई कमी नहीं रखी
पीएम मोदी ने कहा, 'देश जिस हालत में था अगर उसको याद करोगे तो पता चलेगा कि क्या हो रहा है। मैं गुजरात में मुख्यमंत्री बना तो मैं बिल्कुल नया था, अनुभव की कमी थी। लोग कहते थे कि कुछ करो न करो कम से कम खाना खाते समय बिजली मिले इतना तो काम करना। हमने काम शुरू किया। गुजरात देश का पहला राज्य बना जहां 24 घंटे बिजली मिलने लगी। इस पांच वर्ष पहले की सरकार की तुलना में हम कहां है मैं दावे के साथ कहता हूं कि देश के लिए अच्छा करने में हमने कोई कमी नहीं रखी है। पहले अखबार में खबरों की हेडिंग यही रहती थी कि इतना गया.. आज खबरों में यही रहता है कि मोदी जी बताइये कि कितना आया।' 

भगवान बसवेश्वर ने लोकतंत्र के लिए जीवन खपा दिया
पीएम मोदी ने भगवान बसवेश्वर के संबंध में पूछे गए एक सवाल के जवाब में कहा, 'आजादी के बाद हमारी महान विरासत को भुला दिया गया है। भगवान बसवेश्वर के वचन सभी भाषाओं में उपलब्ध है उसे पढ़ना चाहिए। हमें अपनी महानताओं को पता ही नहीं हैं। आपको जानकर खुशी होगी 12वीं शताब्दी में भगवान बसवेश्वर ने लोकतंत्र के लिए जीवन खपा दिया। उस जमाने में उन्होंने अनुभव मंडपम बनाया। लोग एक मंडप में जमा होते थे उसमें महिलाएं भी होती थी और सब साथ मिलकर सामाजिक समस्याओं का समाधान करते थे। उनका कहना था कि जहां ठहराव है वहां जिंदगी समाप्त है जहां पर गति है वहां पर जिंदगी के नए आयाम की संभावनाएं होती हैं।' 

बच्चों को पढ़ाई, युवा को कमाई और बुजुर्गों को दवाई
पीएम मोदी ने कहा, 'गरीब बीमार होता है तो पूरा परिवार बीमार हो जाता है। देश में डेढ़ लाख से ज्यादा वेलनेस सेंटर बनाना चाहते हैं। बच्चों को पढ़ाई, युवा को कमाई और बुजुर्गों को दवाई हमारा मूल मंत्र है। मैटरनिटि लीव हमने 26 सप्ताह कर दिया है। परिवार के 10 करोड़ परिवार को साल भा में 5 लाख रुपया बीमारी का खर्चा सरकार भुगतान करेगी। इसके कारण गरीब को इस संकट से मुक्ति मिलेगी। इसके कारण 2 टीयर और 3 टीयर सिटी में प्राइवेट अस्पताल आने की संभावना है। इससे 1 हजार से ज्यादा अच्छे अस्पताल बनने की संभावना है।' 

जेनेरिक मेडिसीन पर जोर, स्टंट की कीमत में कमी
पीएम मोदी ने कहा, 'जेनेरिक मेडिसीन पर हमने जोर दिया। जिससे लोगों को सस्ती दवाएं मिलने लगी हैं। हृदय रोग से पीड़ित लोगों के लिए स्टंट की कीमत 60 से 80 फीसदी कम हो गई। जो पहले 2 लाख तक में उपलब्ध था अब 25 हजार तक में उपलब्ध है। उसी तरह से घुटने के प्रत्यारोपण भी सस्ता हुआ है। उसी तरह स्वच्छता से भी रोगों पर नियंत्रण पाया जा सकता है।' 

गलत इरादे से कोई काम नहीं करूंगा
पीएम मोदी ने कहा कि उन्होंने कभी गलत इरादे से कोई काम नहीं किया, उन्होंने कहा, 'हां ये सही है कि काम के दौरान लोगों से कुछ गलतियां हो जाती हैं लेकिन गलत इरादे से कोई काम नहीं करूंगा यह देश से वादा किया है.. मैं गलतियां कर सकता हूं पर गलत इरादे से कोई काम नहीं करूंगा। मैंने कभी ये नहीं सोचा कि मैं देश बदल दूंगा। लेकिन यह है कि अगर हमारे देश में लाखों समस्याएं हैं तो सवा सौ करोड़ समाधान भी है। कोई कल्पना कर सकता है कि 86 फीसदी करेंसी अर्थव्यवस्था से बाहर हो जाए तो क्या स्थतियां हो जाती हैं लेकिन सवा सौ करोड़ देशवासी इस फैसले के साथ रहे। अब किसी को पत्थर फेंकना है, कूड़ा-कचरा फेंकना है तो किसपर फेंकेंगे। लेकिन ये भी है कि मैं अपने देशवासियों पर पत्थर और कूड़ा नहीं आने देता हूं मैं खुद झेल लेता हूं।' 

फिटनेस पर पीएम मोदी ने कही यह बात
'मैं पिछले 2 दशक से रोजना एक किलो या दो किलो गालियां खाता हूं। सवा सौ करोड़ देशवासी मेरे लिए परिवार है। जहां अपनापन अनुभव करते होंगे वहां थकान मिट जाती है। पहली बात है मन की अवस्था, दूसरी बात है कि अभी तो पीएम हूं लेकिन मुझे मालूम है क्या होगा.. जिंदगी में किसी पर बोझ न बनूं.. यूं ही हंसते-खेलते चला जाऊं। नौजवानों से कहना चाहूंगा कि विरासत में बहुत कुछ मिल सकता है लेकिन भीतर की तबीयत तो आपको खुद हीं संभालनी होती है। नियमों से जिंदगी जीने से आप जिस काम के लिए निकले हैं उसे सफलता पूर्वक कर लेंगे।' 

आजादी के बाद जनता और सरकार के बीच दूरी बढ़ी 
उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी को पूरे देश को आजादी की लड़ाई के लिए जोड़ा. आजादी के बाद सरकार और जनता के बीच दूरी बढ़ी। विकास को जन आंदोलन में तब्दील होना चाहिए। 40 लाख वरिष्ठ नागरिकों ने रेलवे की सब्सिडी छोड़ी। हमारा काम जनता को समझना और उसे जोड़ना है। मैं जनता को साथ लेकर काम करने पर विचार कर रहा हूं। 

क्या आप देश बदल पाएंगे? 
इस सवाल के जवाब में पीएम मोदी ने कहा, "मैं मेहनत करता हूं. मुझे लगता है कि इस पर कोई विवाद नहीं हैं। अगर न करता तो मुद्दा है। सवा सौ करोड़ देशवासियों ने मुझे यहां क्यों बिठाया है। मेरे पास पूंजी एक ही है - वह है कठोर परिश्रम. मेरे पास पूंजी है मेरे सवा सौ करोड़ देशवासियों का प्यार। इसलिए मुझे ज्यादा से ज्यादा मेहनत करना चाहिए। मैं आपके जैसा ही सामान्य नागरिक हूं। मुझसे वो सारी कमियां हैं, जो सामान्य नागरिक में होती हैं। कृपा करके मुझे अपने से अलग न समझें. मैं वहीं हूं जो आप हैं।" 

मैं हमेशा सकारात्मक सोचता हूं
गीतकार प्रसून ने जब सवाल किया कि क्या आप भी कभी बेसब्र होते हैं। इस पर पीएम ने चुटकी लेते हुए कहा कि मुझे पता नहीं था कि कवि के भीतर पत्रकार बैठा है। उन्होंने कहा कि बेसब्री मुझे ऊर्जा देती है। हर शाम दूसरे दिन का सपना लेकर सोता हूं। मैं कभी निराश नहीं होता। मैं हमेशा सकारात्मक सोचता हूं। उन्होंने कहा, इन्हीं व्यवस्थाओं से, अगर आपके पास नीति स्पष्ट हो, इरादे नेक हो तो आप इच्छित परिणाम हो सकते हैं। 

देश में लाखों समस्याएं लेकिन करोड़ों समाधान भी
उन्होंने कहा कि मैंने कभी नहीं कहा कि मैं अकेले देश बदल दूंगा। मैं मानता हूं कि देश में लाखों समस्याएं हैं लेकिन करोड़ों समाधान भी हैं। हर तरह की ठोंकरें खाकर यहां तक पहुंचा हूं. मैंने भी कभी कविता लिखी थी जो लोग मुझे पर पत्थर फेंकते हैं, मैं उससे पथ बना देता हूं। और उस पर ही चल पड़ता हूं। 

फकीरी मेरे मन से जुड़ा हुआ विषय है
गीतकार प्रसून जोशी ने जब पीएम मोदी की फकीरी से जुड़ा सवाल पूछा तो पीएम ने कहा कि यह बहुत निजी प्रकृति का प्रश्न है लेकिन सच यह है कि फकीरी मेरे मन से जुड़ा हुआ विषय है। गुजरात का मुख्यमंत्री रहने के दौरान मिलें तोहफों को मैंने कभी अपने पास नहीं रखा। उन्हें एकत्र करके मैंने उनकी नीलामी कराई। 100 करोड़ रुपए से ज्यादा की नीलामी हुई। उस पैसे को बच्चियों की शिक्षा के लिए दिया। जब मैं प्रधानमंत्री बना तो अफसरों को बुलाया कि मेरी विधायक के रूप में मिली वेतन को गरीब ड्राइवरों के बच्चों की दे दिया जाए। 

स्वास्थ्य क्षेत्र में बड़ा कदम उठाया
मोदीकेयर पर पीएम मोदी ने कहा कि स्वास्थ्य क्षेत्र में हमने एक बड़ा कदम उठाया है। हम देश में डेढ़ लाख से ज्यादा हेल्थ सेंटर बनाना चाहते हैं। हमने पोषण मिशन शुरू किया है। मातृ अवकाश के लिए हमारी सरकार ने बहुत उदारता दिखाई है उसे 26 सप्ताह कर दिया है। पीएम मोदी ने कहा कि 1000 से ज्यादा नए अस्पताल बनने की संभावना बढ़ी है। हमने जेनेरिक दवाएं उपलब्ध कराई हैं। 3000 ऐसे मेडिकल सेंटर खोले हैं। पीएम मोदी ने मुद्रा योजना की चर्चा की। उन्होंने कहा कि अब तक 11 लाख करोड़ लोगों ने मुद्रा योजना का लाभ उठाया है। उन्होंने कहा कि किसानों के लिए खाद की मुश्किल आसान कर दी। स्किल डेवलपमेंट में हम सही दिशा में जा रहे हैं। यानी साहस करने वाले को साहस देना हमारा लक्ष्य है।  

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