शहीद पायलट के पिता ने लिखी प्रधानमंत्री को चिट्ठी, बेटे की मौत की हो उच्चस्तरीय जांच
भारत-चीन सीमा पर पिछले महीने हुए हादसे में मरने वाले सुखोई विमान के पायलट अचु देव के पिता ने हादसे की उच्च स्तरीय जांच की मांग की है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वायु सेना प्रमुख बिरेंद्र सिंह धनोवा को लिखे पत्र में बेटे की मौत को संदिग्ध बताया है।
फ्लाइट लेफ्टिनेंट अचु देव और स्क्वॉड्रन लीडर डी पंकज का सुखोई विमान 23 मई को भारत-चीन सीमा पर दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। हादसे के तीन दिन बाद विमान का मलबा मिला था। इसके बाद दोनों शहीदों का पार्थिव शरीर उनके घर भिजवाया गया था। अचु देव के पिता और पूर्व इसरो कर्मी वीपी साहदेवन ने पत्र में लिखा है कि उनके घर पहुंचे ताबूत में उनके बेटे का शव नहीं था। साहदेवन ने अधिकारियों के बयान पर संदेह जताते हुए लिखा कि उन्हें बताया गया था कि बुरी तरह से जलने के कारण उनके बेटे के शव की पहचान मुश्किल है। सेना को उसका पर्स मिला है जिसके आधार पर अचु की पहचान की गई।
वहीं साहदेवन कहते हैँ कि पर्स को नुकसान नहीं हुआ यह बात स्वीकार करना मुश्किल है। उन्होंने कहा कि बेटे के पर्स में मौजूद पैसे और बैंक के कार्ड सही सलामत हैं। साहदेवन ने बताया कि मौत के बताये गए कारणों में पर्याप्त सबूत और तथ्यों की कमी दिखती है, इसके पीछे की कहानी कुछ और नजर आ रही है। उनके लिए बिना तथ्यों के इस बात को मानना मुश्किल है कि उनके बेटे की मौत हो चुकी है। वायुसेना ने इस मामले में कोर्ट ऑफ इंक्वायरी के आदेश दिए हैं लेकिन अचु के पिता ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वायुसेना प्रमुख बीरेंद्र सिंह धनोआ को पत्र लिखकर इस हादसे की उच्च स्तरीय जांच कराने की मांग की है।
गौरतलब है कि सुखोई 30 जेट विमान को लेकर दो पायलट वायुसेना के तेजपुर हवाई अड्डे से 23 मई को सुबह 9.30 बजे एक मिशन पर रवाना हुए थे। करीब 11.10 बजे विमान का संपर्क राडार से टूट गया। विमान उस वक्त अरुणाचल प्रदेश में भारत चीन सीमा के पास स्थित दौलासांग क्षेत्र में था।