घर-घर जाकर जुटाई जायेगी बच्चों की जानकारी
'स्कूल चलें हम अभियान' के प्रथम चरण में नवीन शैक्षणिक सत्र के पूर्व ही प्रदेश की हर बस्ती में घर-घर सम्पर्क कर वृहद सर्वे किया जायेगा। हर परिवार के बच्चों की जानकारी प्राप्त कर ग्राम/वार्ड शिक्षा पंजी को अद्यतन करते हुए समग्र शिक्षा पोर्टल, समग्र डाटाबेस एवं डाईस डाटाबेसेस को इकट्ठा किया जायेगा। इससे प्रदेश के 0 से 18 वर्ष आयु तक के बच्चों की प्रामाणिक जानकारी ऑनलाइन उपलब्ध रहेगी। साथ ही स्कूल जाने योग्य आयु वर्ग के तथा शाला त्यागी अथवा शाला अप्रवेशी बच्चों का स्कूल एवं आँगनवाड़ी में नामांकन सुनिश्चित हो सकेगा।
शासन की मंशा है कि स्कूल जाने योग्य हर आयु के बच्चे को स्कूल शिक्षा उपलब्ध करवायी जाये। स्कूल शिक्षा विभाग के अधिकारियों के साथ ही अन्य विभाग के अधिकारी एवं कर्मचारी का भी अभियान में सहयोग लिया जायेगा। आयुक्त राज्य शिक्षा केन्द्र श्रीमती दीप्ति गौड़ मुखर्जी ने जिला कलेक्टर्स, नगर पालिका/निगमों के आयुक्त एवं जिला पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को पत्र लिखा है।
प्रत्येक ग्राम/वार्ड में सर्वे दल गठित किये जायेंगे। अधिक जनसंख्या वाले ग्राम/वार्ड में एक से अधिक दलों का गठन भी किया जायेगा। ग्रामीण क्षेत्र/नगरपालिका/नगर परिषद में दलों का गठन जिला कलेक्टर द्वारा एवं नगर निगम क्षेत्रों में दल गठन कलेक्टर एवं आयुक्त नगर निगम द्वारा किया जायेगा।
कार्यक्रम के क्रियान्वयन के लिए सतत समीक्षा एवं सफल क्रियान्वयन के लिये ग्रामीण क्षेत्रों में मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत एवं शहरी क्षेत्रों में आयुक्त नगर निगम को इसकी जिम्मेदारी सौंपी गयी है। जिला-स्तर पर, ग्राम-वार्ड पंजी के परिवारवार सर्वेक्षण एवं समय पर सम्पूर्ण कार्य पूर्ण करवाने का उत्तरदायित्व जिला शिक्षा अधिकारी, सहायक आयुक्त आदिवासी विकास, जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला-बाल विकास एवं जिला परियोजना समन्वयक सर्व शिक्षा अभियान का होगा। ग्राम एवं वार्ड-स्तर पर गठित किये जाने वाले सर्वेक्षण दलों में पंचायत सचिव/वार्ड प्रभारी तथा आँगनवाड़ी कार्यकर्ता सर्वे के दौरान अनिवार्यत: उपस्थित रहेंगे।
मैदानी-स्तर पर सर्वेक्षण कार्य के पर्यवेक्षण के लिये, राज्य-स्तर से भी अधिकारियों द्वारा जिलों का भ्रमण कर सर्वे कार्य का अवलोकन एवं निरीक्षण किया जायेगा। - रघुनंदन शर्मा