ये है मुर्दों का शहर, 1400 साल से कब्रों के बीच रह रही हैं फैमिलीज
दस्तक डेस्क. ममी और पिरामिड वाले देश मिस्र में एक ऐसा शहर भी है, जिसे 'मुर्दों का शहर' कहा जाता है। यहां कब्र मकानों की तरह हैं। इनमें खिड़की, दरवाजे हैं और छतों पर पानी की टंकी भी है। काहिरा के बाहरी इलाके में स्थित इस शहर को स्थानीय 'एल-अराफा' नाम से जानते हैं।
1400 साल से कब्र के बीच रह रही हैं फैमिलीज...
- सैकड़ों कब्रों के बीच आज भी यहां पांच लाख की आबादी बसती है।
- ये लोग सातवीं सदी यानी 1400 साल से ऐसे ही कब्रों के बीच रह रहे हैं।
- कब्रों को कमरों की शक्ल दी जाती है, जिसमें एक छोटा सा गार्डन भी होता है।
- इतना ही नहीं, बाकायदा कब्रों को सजाया संवारा भी जाता है।
कब्र की रखवाली करने वाले कमाते हैं पैसे
- मुर्दों के इस शहर में हर कब्र का रखवाला होता है। काहिरा के लोग कब्र को इस तरह बनाते हैं कि इसमें उसका रखवाला परिवार समेत रह सके।
- रखवालों को इससे महीने में लगभग 125 डॉलर (लगभग 8,000 रुपए) की आमदनी हो जाती है। हालांकि, मुर्दों के बीच रहना कोई आसान काम नहीं।