खुल सकता है दिग्गजों को हराने वालों की किश्मत का ताला, मंत्रिमंडल में जगह संभव !
- ऐसे एक दर्जन से ज्यादा नामों पर हुआ विचार
दिनेश निगम ‘त्यागी’,वरिष्ठ पत्रकार
पीढ़ी परिवर्तन के इस दौर में भाजपा के उन विधायकों की किश्मत का ताला खुल सकता है, जो कांग्रेस के दिग्गजों को पराजित कर विधानसभा में पहुंचे हैं। ऐसे एक दर्जन से ज्यादा नामों पर दिल्ली की बैठक में विचार हुआ है। इनमें से आधा दर्जन से ज्यादा मंत्रिमंडल में जगह पा सकते हैं। हालांकि दिग्गजों को हराने वाले विधायकों की संख्या 13 से ज्यादा है लेकिन इन सभी को मंत्री नहीं बनाया जा सकता। सूत्रों के अनुसार पार्टी नेतृत्व इनमें से अधिकांश को अवसर देने के मूड में है ताकि कांग्रेस के दिग्गजों को भविष्य में भी जीत कर आने से रोका जा सके।
चंबल-ग्वािलयर, बुंदेलखंड अंचल से ये चर्चा में
- आधा दर्जन से ज्यादा भाजपा नेताओं न चंबल-ग्वालियर और बुंदेलखंड अंचल में कांग्रेस के दिग्गजों को धूल चटाई है। इनमें भिंड जिले की लहार सीट में नेता प्रतिपक्ष डॉ गोविंद िसंह को अंबरीश शर्मा और भिंड में चौधरी राकेश सिंह को नरेंद्र सिंह कुशवाह ने हराया है। शिवपुरी में केपी सिंह को देवेंद्र कुमार जैन, चाचौड़ा में दिग्विजय सिंह के अनुज लक्ष्मण सिंह को प्रियंका मीणा और सेवढ़ा में घनश्याम सिंह को प्रदीप अग्रवाल ने शिकस्त दी है। इसी प्रकार बुंदेलखंड के छतरपुर में आलोक चतुर्वेदी पज्जन को ललिता यादव और पन्ना जिले में मुकेश नायक को प्रहलाद लोधी ने लगातार दूसरी बार हराया है। मंत्रिमंडल में शामिल करने के लिए इन 6 नामों पर विचार हुआ है।
विंध्य्ा, महाकौशल के 4 ने दिग्गजों को हराया
- प्रदेश के विंध्य और महाकौशल अंचल के चार नेताओं ने भी कांग्रेस के दिग्गजों को हराया है। हालांकि जबलपुर पश्चिम में कांग्रेस सरकार में वित्त मंत्री रहे तरुण भनोट को हराने वाले राकेश सिंह खुद भाजपा के दिग्गज हैं। इनके अलावा मैहर में नारायण त्रिपाठी को हराने वाले श्रीकांत चतुर्वेदी, सिहावल में पूर्व मंत्री कमलेश्वर पटेल को मात देने वाले विश्वामित्र पाठक और लांजी में हिना कांवरे को शिकस्त देने वाले राजकुमार कर्राए को मंत्री बनाए जाने के लिए दिल्ली की बैठक में विचार किए जाने की सूचना है।
मालवा के 4 नेताओं के नाम भी कतार में
- मालवा-निमाड़ इस समय राजनीति के केंद्र में है। यहां से मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव और उप मुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा के अलावा कांग्रेस ने भी प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी और नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार को इसी अंचल से चुना है। अंचल के 4 भाजपा नेताओं ने कांग्रेस के दिग्गजों को हराया है। इनमें साेनकच्छ में सज्जन सिंह वर्मा को राजेश सोनकर, महेश्वर में विजयलक्ष्मी साधौ को राजकुमार मेव, राऊ में जीतू पटवारी को मधु वर्मा और खातेगांव में पूर्व मुख्यमंत्री स्वर्गीय कैलाश जोशी के पुत्र दीपक जोशी को आशीष गोविंद शर्मा ने मात दी है। इनमें से भी कुछ मंत्रिमंडल में जगह पा सकते हैं।
भोपाल के आसपास से इन नामों की चर्चा
- भोपाल दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट के भगवानदास सबनानी और राजधानी से सटे रायसेन जिले की भोजपुर विधानसभा सीट से जीते सुरेंद्र पटवा ने भी कांग्रेस के दिग्गजों को हराया है। सबनानी ने पूर्व मंत्री पीसी शर्मा को शिकस्त दी है जबकि पटवा ने पूर्व मंत्री राजकुमार पटेल को। पटवा इससे पहले दो बार वरिष्ठ नेता सुरेश पचाैरी को भी हरा चुके हैं। इसलिए मंत्री बनने के लिए इनके नाम चर्चा में हैं। इसके अलावा भोपाल में इस बार रामेश्वर शर्मा और कृष्णा गौर ने रिकार्ड मतों के अंतर से जीत दर्ज की है। इसलिए इनके नाम भी मंत्रिमंडल में शामिल करने विचार में बताए गए हैं।
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