बाजार में नहीं मिल रहा रूह-अफजा, रमजान के महीने में बढ़ जाती है डिमाण्ड
भले ही बाजार में कोल्ड ड्रिंक की कमी न हो, लेकिन गर्मी के मौसम में इस्तेमाल किए जाने वाले शर्बत रूह अफजा की बात ही कुछ और है. रमजान का महीन चल रहा है. ऐसे में रूह अफजा शर्बत की जबरदस्त डिमांड होती है. लेकिन, इस साल बाजार में रूह अफजा नहीं मिल रही है. बनाने वाली कंपनी हमदर्द का कहना है कि रमजान के महीने में इसकी डिमांड 25-30 फीसदी तक बढ़ जाती है. ऐसे में फिलहाल डिमांड और सप्लाई का बैलेंस बिगड़ा हुआ है. बहुत जल्द डिमांड के हिसाब से इसकी सप्लाई की जाएगी.
इस बीच खबर आ रही है कि पाकिस्तान में रूह अफजा बनाने वाली कंपनी हमदर्द के मालिकों ने भारतीय मुसलमानों की सुविधाओं के मद्देनजर वाघा बॉर्डर के रास्ते रूह अफजा भारत में सप्लाई करने की पेशकश की है. पाकिस्तानी हमदर्द कंपनी के CEO उसामा कुरैशी ने ट्वीट कर भारतीय सरकार को रूह अफजा भेजने की पेशकश की है. ट्विटर पर इसको लेकर तमाम तरह की प्रतिक्रियाएं मिल रही हैं.
बता दें, रमजान के महीने में इफ्तार पार्टी के दौरान रूह अफजा से ही गले को गिला करते हैं. इसको लेकर कोई नियम नहीं है, लेकिन दशकों से ऐसा ही होता आया है, जिससे यह एक परंपरा की तरह बन चुकी है.
दिल्ली-NCR के दुकानदारों का कहना है कि सप्लाई बंद होने की वजह से रूह अफजा नहीं मिल रहा है. डिमांड ज्यादा है और सप्लाई कम है. दुकानदारों का कहना है कि आज तक कभी ऐसा नहीं हुआ कि सप्लाई के मुताबिक रूह अफजा की सप्लाई न हुई हो. ऐसे में लगता है कि कुछ गड़बड़ है. हालांकि, ऑनलाइन यह उपलब्ध है लेकिन कीमत बहुत ज्यादा है.
कुछ मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि पारिवारिक कलह के चलते इसका प्रोडक्शन कई महीने प्रभावित रहा था. अब जाकर प्रोडक्शन में तेजी आई है, जिसकी वजह से बाजार में कमी देखने को मिल रही है. बहुत जल्द बाजार में इसकी सप्लाई बढ़ाई जाएगी.
रूह अफजा ब्रांड 100 साल से ज्यादा पुराना है. 1906 में हकीम हाफिज अब्दुल माजिद ने इसका प्रोडक्शन शुरू किया था. हमदर्द आयुर्वेद की दुनिया में बहुत बड़ा ब्रांड है, लेकिन, रूह अफजा हर घर की पसंद है. ऐसे में उम्मीद है कि रूह अफजा बहुत जल्द वापस आ जाए.