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स्वीकृत कार्य क्यों हुए निरस्त? एमपीआरडीसी की बैठक में संभागायुक्त श्री ओझा ने पूछा


 

    उज्जैन । ग्रामीण सड़क निर्माण के शासन द्वारा स्वीकृत कार्यों में भूमि न होने, भूमि विवाद, अतिक्रमण होने, अनुमति न मिलने, बिजली खंबा शिफ्ट न होने आदि किसी भी प्रकार की कठिनाई होने पर तुरन्त बतायें, तुरन्त निराकरण कराया जाएगा, परन्तु कोई कारण नहीं होने पर यदि स्वीकृत कार्य निरस्त होता है तो विभागीय अधिकारियों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी।

    संभागायुक्त द्वारा आज मंगलवार को उज्जैन सहित संभाग के सभी जिलों की म.प्र.ग्रामीण सड़क विकास प्राधिकरण के कार्यों की समीक्षा के दौरान, संभाग में बड़ी संख्या में कार्य स्वीकृति उपरान्त निरस्त होना पाए जाने पर, ये निर्देश विभागीय अधिकारी को दिए। बैठक में संयुक्त आयुक्त श्री प्रतीक सोनवलकर, संभाग के सभी जिलों के मप्र ग्रामीण सड़क विकास अभिकरण के जनरल मैनेजर, सहायक मैनेजर आदि उपस्थित थे। बैठक पूर्वाह्न में मेला कार्यालय में आयोजित की गई।

मैन्टेनेंस के लिए एक्टिव रहें

    संभागायुक्त ने विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे सड़कों के संधारण को सर्वोच्च प्राथमिकता दें। अधिकारी सड़कों के मैन्टेनेंस को लेकर सक्रिय नहीं हैं। वे एक्टिव हो जाएं। सड़कों का निरन्तर मैन्टेनेंस सुनिश्चित किया जाए।

अनुपस्थित अधिकारियों के विरूद्ध कार्रवाई करें

    संभागायुक्त ने निर्देश दिए कि बैठक में अनुपस्थित अधिकारियों के विरूद्ध कार्रवाई की जाए। बैठक में उज्जैन संभाग के विभाग के 9 जनरल मैनेजर्स में से देवास, रतलाम सहित 3 जिलों के जनरल मैनेजर उपस्थित थे। देवास जिले के सहायक प्रबंधक को बैठक में बिना जानकारी के आने पर फटकारा गया।


 

उज्जैन, देवास, मंदसौर में निरस्त हुए कार्य

    विभाग के कार्यों की समीक्षा के दौरान संभागायुक्त ने कहा कि उज्जैन सहित संभाग के कई जिलों में ग्रामीण सड़क निर्माण के बहुत से कार्य स्वीकृत होने के बाद भी प्रारम्भ नहीं होने से विलोपित हो गए हैं। देवास जिले में ऐसे कार्यों की संख्या 4, मंदसौर में 3 तथा उज्जैन में 4 है। संभागायुक्त ने सख्त हिदायत दी कि यदि बिना किसी पुख्ता कारण के यदि अधिकारियों की लापरवाही की वजह से कार्य निरस्त (विलोपित) हुए तो सम्बन्धित के विरूद्ध कार्रवाई होगी।

सड़कें 5 वर्ष से पहले क्यों खराब हुईं?

    बैठक में संभागायुक्त ने कहा कि ग्रामीण सड़क विभाग द्वारा निर्मित ऐसी सड़कों की जानकारी दें, जो कि गारंटी काल 5 वर्ष से पहले खराब हो गई हैं। इन सभी सड़कों का निर्माण करने वाली एजेन्सियों के विरूद्ध कार्रवाई की जाए। जिलावार ऐसी सड़कों की सूची दें।

पोल शिफ्टिंग करवाएं

    बैठक में बताया गया कि ग्रामीण सड़कों के कई कार्य बिजली विभाग द्वारा पोल शिफ्टिंग में देरी के कारण नहीं हो पा रहे हैं। महिदपुर, तराना एवं घट्टिया में बन रही ग्रामीण सड़कों के पोल शिफ्टिंग का कार्य शीघ्र किए जाने के निर्देश संभागायुक्त द्वारा बिजली विभाग को दिए गए।

500 के पूरे हुए अब 300 के करें

    बैठक में बताया गया कि संभाग के सभी जिलों में 500 की जनसंख्या वाले ग्रामों में सड़क के कार्य पूरे हो चुके हैं। संभागायुक्त ने निर्देश दिए कि अब 300 की जनसंख्या वाले ग्रामों में सड़क बनाए जाने के कार्य कराए जाएं।

ब्लैक स्पॉट्स चिन्हित करें

    संभागायुक्त श्री ओझा ने निर्देश दिए कि सभी जिलों में सड़कों के 'ब्लैक स्पॉट्स' चिन्हित कर लें तथा वहां दुरूस्ती का कार्य तुरन्त कराएं, जिससे सड़क दुर्घटनाओं को रोका जा सके।

 

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