पहली बारिश में अमृत मिशन के 400 करोड़ के सीवरेज प्लान की खुली पोल....
उज्जैन में एक दिन पहले रात हुई मानसून की पहली बारिश के बाद अम्रत मिशन के 400 करोड़ के सीवरेज प्लान की पोल खुलकर सामने आ गई, नानाखेड़ा क्षेत्र की जिन जिन कालोनियों में मिशन के तहत पाईप लाइनें डालने का कार्य किया जा रहा था उन सभी कालोनियों में अचानक से मुसीबतों का पहाड़ टूट पड़ा और रहवासी हैरान परेशान हो गए।
नगर निगम द्वारा शहर को स्मार्ट बनाने की दिशा में शुरू किए गए सीवरेज लाईन प्रोजेक्ट का काम शहर में तेजी से चल रहा है, टाटा कम्पनी द्वारा लगभग 400 करोड़ की लागत से यह काम किया जा रहा है लेकिन कम्पनी द्वारा कार्य मे जमकर लापरवाही और अनियमितता बरती जा रही है, कालोनियों से लेकर मुख्य मार्गो को खोद दिया गया है जिनमें बीती रात हुई बारिश का पानी भर गया और स्थिति विक्राल बन गई, नानाखेड़ा की विद्यापति नगर, कृष्णा पार्क, आराधना परिसर, अभिषेक नगर, महानन्दा नगर में सड़कों के बीचों बीच बने गड्ढो में मिट्टी और पानी भर जाने के कारण पूरी सड़क गड्ढे और फिसलन में बदल गई जिस पर गाड़ी चलाना भी दूभर हो गया और कई लोग दुर्घटना का शिकार हो गए लगातार हो रही दुर्घटनाओं के बाद लोगो का आक्रोश टाटा कम्पनी के कर्मचारियों पर फुट रहा है, प्रोजेक्ट मैनेजर सुशोभित मिश्रा स्थिति को संभाल नही पा रहे है और लोगो को संतुष्टि जनक जवाब नही दे पा रहे है वहीं योजना प्रभारी पीएचई के ई ई धर्मेन्द्र वर्मा भी फोन बंद कर राफ्फ्फुचक्कर हो गए , योजना में काम कर रहे मजदूरों का आईडी कार्ड तक नही है वहीं ट्रेक्टर, जेसीबी जैसे वाहनों पर नम्बर भी नही है, साथ ही पाइपो की मोटाई और चेम्बर के घटिया निर्माण पर भी सवाल खड़े हो रहे है फिर भी कम्पनी कर्मचारी जल्द लोगो की समस्याएं दूर करने की बात कर रहे है