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फांसी लगाकर आत्महत्या मामले में सीबीआई, सीआईडी जांच की मांग


परिजनों ने कहा पत्नी, प्रेमी के साथ मिलकर कर रही थी मानसिक रूप से प्रताड़ित-दी थी जान से मारने की धमकी

उज्जैन। अर्पिता कॉलोनी निवासी मनोज पांडे द्वारा फांसी लगाकर आत्महत्या करने के मामले में मृतक के परिजनों ने उच्च स्तरीय जांच के लिए सीबीआई अथवा सीआईडी जांच की मांग की है। परिजनों का आरोप है कि 9 दिसंबर 2018 की दोपहर में मनोज पांडे ने अपनी पत्नी सीमा पांडे के डॉ. विकाससिंह से अवैध संबंध होने तथा डॉ. विकाससिंह एवं मृतक की पत्नी सीमा पांडे द्वारा उसे जान से मरवाने की धमकी देने व मानसिक रूप से प्रताड़ित करने के कारण फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। 

मनोज पांडे के पिता शिवनारायण पांडे ने बताया कि आरोपी विकास सिंह एवं मृतक की पत्नी सीमा पांडे के कई वर्षों से अवैध संबंध थे। सीमा पांडे डॉ. विकास सिंह की डिवाईन वेली स्थित कोचिंग क्लास में सिविल जज एवं एडीजे की परीक्षा की तैयारी करने जाती थी, जहां पर दोनों के अवैध संबंध स्थापित हो गये थे। जब इसकी जानकारी मनोज पांडे को लगी तो विकाससिंह ने माफीनामा भी लिखा था, लेकिन उसके बाद भी विकाससिंह एवं सीमा पांडे के संबंध यथावत रहे। मनोज पांडे को उसकी पत्नी सीमा पांडे और विकाससिंह ने गंभीर रूप से परेशान कर रखा था उसे निरंतर जान से मारने, पागल घोषित करने की धमकी दोनों दे रहे थे। मनोज पांडे की मृत्यु होने के बाद पुलिस थाना नानाखेड़ा ने मर्ग जांच उपरांत भादवि की धारा 306 के अंतर्गत डॉ. विकाससिंह के विरूध्द अपराध पंजीबध्द किया था किंतु पुलिस थाना नानाखेड़ा के अनुसंधान अधिकारी द्वारा निरंतर वरिष्ठ अधिकारियों के दबाव में आरोपी विकाससिंह को सहयोग प्रदान किया जाता रहा तथा उसकी गिरफ्तारी नहीं की गई। वहीं सीमा पांडे के खिलाफ आज तक कोई कार्यवाही नहीं की गई है और न ही उसे गिरफ्तार करने या प्रकरण में अग्रिम जांच करने का कोई प्रयास नहीं किया। सीमा पांडे द्वारा विकाससिंह के साथ मिलकर तथा उसके कहने पर कार्यालय वन स्टॉफ केन्द्र (सखी) माधवनगर में अपने पति की झूठी शिकायत की थी जिस पर वन स्टॉफ केन्द्र पर मृतक मनोज पांडे ने उपस्थित होकर अपनी पत्नी के अवैध संबंध डॉ. विकाससिंह से होना वहां के अधिकारियों को बताया था जिसे सीमा पांडे द्वारा भी स्वीकार किया गया था तथा विकाससिंह को भी वन स्टॉफ केन्द्र पर बुलाकर बयान लिये थे जहां पर उसके द्वारा भी सीमा पांडे से अवैध संबंध होने की स्वीकारोक्ति दी थी। पुलिस द्वारा आज तक वन स्टॉफ केन्द्र में हुए कथन एवं कार्यवाही को जब्त नहीं किया है और न ही पुलिस ने प्र्रकरण में समुचित अनुसंधान किया है। आरोपी डॉ. विकास सिंह एवं मृतक की पत्नी सीमा पांडे की धमकियों एवं अपने वकील होकर कानून के जानकार होने के दबाव एवं प्रभाव के कारण मृतक ने आत्महत्या कर ली थी। मृतक के परिजनों को भी आशंका है कि आरोपी डॉ. विकाससिंह और मृतक की पत्नी सीमा पांडे मृतक के परिजनों के साथ झूठे प्रकरण में संलिप्त कर झूठी शिकायत कर सकते है तथा जान से मरवा सकते हैं। नानाखेड़ा पुलिस द्वारा दबाव के कारण संपूर्ण जांच को दूषित कर दिया है तथा निरंतर आरोपी विकाससिंह को सहयोग कर रहे हैं इसके कारण उसे अग्रिम जमानत मिल गई। 

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