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कराधान अधिनियमों की पुरानी बकाया राशि के सम्बन्ध में निर्देश जारी


उज्जैन | संभागीय उपायुक्त वाणिज्यिक कर डॉ.गोपाल पोरवाल ने जानकारी दी कि राज्य शासन द्वारा मप्र कराधान अधिनियमों की पुरानी बकाया राशि के समाधान के सम्बन्ध में अध्यादेश जारी किया गया है। इस अध्यादेश के अनुसार मप्र विक्रय कर अधिनियम, मप्र वाणिज्यिक कर अधिनियम, मप्र वेट अधिनियम, केन्द्रीय विक्रय कर अधिनियम, मप्र होटल तथा वास गृहों में वस्तु पर कर अधिनियम एवं मप्र विलासिता, मनोरंजन, आमोद एवं विज्ञापन अधिनियम से सम्बन्धित वर्ष 2015-16 तक की अवधि के कर निर्धारण प्रकरणों की बकाया राशि के समाधान की व्यवस्था की गई है।
   इसके अनुसार बकायादार व्यवसायी अध्यादेश जारी करने की दिनांक 26 सितम्बर 2020 से अगले 120 दिन के अन्दर बकाया राशि के समाधान हेतु आवेदन-पत्र प्रस्तुत कर सकते हैं। योजना के अन्तर्गत आवेदन के साथ समाधान राशि का चालान संलग्न करना आवश्यक है। आवेदन के साथ कर की राशि जमा करने पर पैनल्टी एवं ब्याज की राशि में 90 प्रतिशत तक छूट दी गई है। ऐसे प्रकरण जिनमें अपीलीय अधिकारी या न्यायालय के समक्ष अपील/पीटिशन प्रस्तुत की गई है, ऐसे विवादित प्रकरणों में कर की राशि में 50 प्रतिशत तथा ब्याज और पैनल्टी की राशि में 95 प्रतिशत तक की छूट की व्यवस्था है।
   ऐसे व्यवसायी जिनके द्वारा "सी" फार्म, "एच" फार्म, "एफ" फार्म आदि घोषणा-पत्र किसी कारणवश कर निर्धारण के समय प्रस्तुत नहीं किये जा सके थे, वे व्यवसायी घोषणा-पत्र फार्म प्राप्त होने पर आवेदन के साथ प्रस्तुत कर सकते हैं। राज्य शासन द्वारा लाई गई यह बकाया राशि समाधान योजना अत्यन्त लाभदायक एवं अभी तक लाई गई समाधान योजनाओं की तुलना में काफी व्यावहारिक और आकर्षक है। इसीलिये समस्त बकायादार इस योजना का अधिक से अधिक लाभ ले सकते हैं। विस्तृत जानकारी के लिये अपने वृत्त के वाणिज्यिक कर अधिकारी से सम्पर्क किया जा सकता है।

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