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1300 कोरोना पॉजीटिव मरीज ठीक होकर अपने घर गये



ठीक होने वाले लोगों में हर आयुवर्ग के मरीज शामिल
उज्जैन |  कोरोना संक्रमण से बचाव एवं उपचार के लिये जिला प्रशासन द्वारा युद्धस्तर पर कार्य किया जा रहा है। जिले के सभी डॉक्टर्स, नर्सेस एवं पैरामेडिकल स्टाफ बीमार होने वाले मरीजों के उपचार में दिन-रात लगा हुआ है। वहीं प्रशासनिक एवं पुलिस अधिकारी लगातार इंसीडेंट कमांडर्स की भूमिका में सुरक्षा व्यवस्था में शामिल होकर मरीजों को आइसोलेट करने, कंटेनमेंट एरिया में निरन्तर निगरानी करने तथा लॉकडाउन एवं सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करवाने के लिये लगातार ड्यूटी दे रहे हैं।

            कोरोना संक्रमण से बचाव के लिये कलेक्टर श्री आशीष सिंह एवं पुलिस अधीक्षक श्री मनोज सिंह द्वारा निरन्तर कंटेनमेंट क्षेत्र का दौरा किया जाना एवं पॉजीटिव आये मरीजों तथा उनके परिजनों को हिम्मत बंधाने का काम किया जाता रहा है। कोरोना वायरस के उपचार के लिये भर्ती किये गये मरीजों के लिये उच्च स्तरीय चिकित्सा व्यवस्थाएं शासन के निर्देश पर उपलब्ध कराई जा रही हैं। जिला प्रशासन की पहल पर माधव नगर हॉस्पिटल को कोविड केयर सेन्टर में तब्दील करते हुए यहां 100 बेडेड हॉस्पिटल तैयार किया गया तथा आईसीयू का निर्माण करवाया गया। इसी तरह जिला प्रशासन द्वारा आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज, अमलतास अस्पताल देवास, अरबिंदो हॉस्पिटल इन्दौर को कोविड केयर सेन्टर के रूप में चिन्हित कर यहां पर कोरोना पॉजीटिव मरीजों को भर्ती किया गया है।

1603 में से 1300 मरीज स्वस्थ होकर घर लौटे

    जिले में चिकित्सा व्यवस्थाओं में आये सुधार का ही नतीजा है कि 25 अगस्त की सुबह 10 बजे तक जिले में कुल पॉजीटिव पाये गये 1603 मरीजों में से 1300 मरीज स्वस्थ होकर अपने घर लौट चुके हैं। स्वस्थ होने वाले मरीजों में हर आयुवर्ग के मरीज हैं। ठीक होकर घर जाने वाले लोगों ने अस्पतालों में की गई व्यवस्थाओं की प्रशंसा करते हुए कहा है कि चिकित्सकों द्वारा की गई सेवा एवं प्रशासन द्वारा की गई व्यवस्थाओं से उन्हें जीवनदान मिला है। उल्लेखनीय है कि 25 अगस्त तक अरबिंदो हॉस्पिटल से 110 मरीज, पीटीएस से 228 मरीज, आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज से 364 मरीज, अमलतास देवास से 68 मरीज, राजेन्द्र सूरि से चार, डिस्ट्रिक्ट हॉस्पिटल धार से एक, जेल आइसोलेशन से 15 तथा होम आइसोलेशन में रह रहे 132 व्यक्तियों को कोरोना नेगेटिव पाये जाने पर डिस्चार्ज कर दिया गया है।

85 वर्ष की आयु के जीवनलाल से लेकर सात माह के शिशु मोहम्मद अली स्वस्थ होकर घर गये

    जिला प्रशासन की प्रबंध व्यवस्था एवं चिकित्सकों के सदप्रयास से कोरोना संक्रमण से स्वस्थ हुए 1300 मरीजों में उज्जैन निवासी 85 वर्ष आयु के जीवनलाल ने दृढ़ता व हिम्मत के साथ आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज में रहकर कोरोना से लड़ाई लड़ी और विजयी होकर अपने घर गये। उन्होंने स्वस्थ होने पर कहा कि इंसान को आशावादी होना चाहिये, जिससे हर परिस्थिति में सफलता हासिल की जा सके। इसी तरह पीटीएस की बेहतर व्यवस्थाओं के चलते स्वस्थ होकर लौटे लोगों में सात माह का शिशु मोहम्मद अली पिता मोहम्मद रशीद भी शामिल था। कुछ इसी तरह की कहानी विभिन्न अस्पतालों से ठीक होकर निकलने वाले 45 वर्षीय सुश्री शमीनाबी, 75 वर्षीय श्री रमेशचंद्र, 15 वर्षीय ऋषभ देवड़ा, सात वर्षीय बालक लवेश मकवाना, 14 वर्षीय बालिका प्रज्ञा सोनी, 72 वर्षीय सैयद नूर, 67 वर्षीय नासीर खान, 44 वर्षीय अनीता सेन सहित 1600 लोगों की है, जो स्वस्थ होकर घर लौटे हैं और जिला प्रशासन का धन्यवाद ज्ञापित करते हैं।

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